अभी तक आपने सिर्फ यही सुना होगा कि इंटरनेट का कम इस्तेमाल करना सेहत को दिमाग दोनों के लिए अच्छा होता है, लेकिन अब एक नई स्टडी में चौंकाने वाली बात सामने आई है. इस पर काम कर रहे साइंटिस्ट ने पाया कि सेल्फ डायरेक्शन, इंटरनेट आधारित कई थैरेपी मंच से डिप्रेशन कम होता है.
अमेरिका में इंडियाना यूनिवर्सिटी के रिसर्चर्स ने 4,781 प्रतिभोगियों वाली 21 स्टडी की समीक्षा की. यह स्टडी पहले की गई थी. बीते कई सालों में इंटरनेट आधारित कई ऐप और वेबसाइटों ने डिप्रेशन के ट्रीटमेंट का दावा किया. यह स्टडी ‘मेडिकल इंटरनेट रिसर्च’ में प्रकाशित हुई है.
इसमें ऐसी ऐप्लीकेशन पर ध्यान दिया गया, जिन्होंने मानसिक व्यवहार थैरेपी के साथ ट्रीटमेंट उपलब्ध कराया. सोच के तौर-तरीकों में बदलाव और डिप्रेशन कम करने के लक्षण एवं अन्य मानसिक विकृतियों पर केंद्रित यह एक किस्म की मनोवैज्ञानिक थैरेपी है.
आईयू में प्रोफेसर लॉरेंजो लॉरेंजो लॉसेस ने कहा, ‘इस स्टडी से पहले मेरा मानना था कि पिछले अध्ययनों में संभवत: हल्के अवसाद, अन्य तरह की मानसिक स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से ग्रस्त लोगों और जिन लोगों में आत्महत्या की प्रवृत्ति बेहद कम थी, उन पर फोकस किया गया था.’
लॉरेंजो लॉसेस ने कहा, ‘मेरे लिए हैरानी की बात यह थी कि मामला यह नहीं था, जबकि विज्ञान यह सुझाव देता है कि इस तरह के ऐप और मंच बड़ी तादाद में लोगों की मदद कर सकते हैं.’
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