भारत की दिग्गज मुक्केबाज मैरीकॉम के बाद सोनिया चहल ने भी खिताबी मुकाबले में प्रवेश कर लिया है. सोनिया ने 57 किग्रा वर्ग में जो सोन को हराकर फाइनल में कदम रखा. मुकाबले के शुरुआती क्षणों में लड़खड़ाने के बाद सोनिया ने दूसरे राउंड में जोरदार वापसी की और एक-एक अंक जोड़ते हुए जजों को प्रभावित किया. तीसरे राउंड में भारत की यह खिलाड़ी पिछले दोनों राउंड के मुकाबले काफी अटैकिंग की और लगातर सही पंच बरसाकर मुकाबले को एक तरफा किया.
सोनिया ने अपने पर्दापण वर्ल्ड चैंपियनशिप में ही सिल्वर मेडल हासिल कर लिया है. नॉर्थ कोरियन खिलाड़ी को भारतीय खिलाड़ी ने 5-0 से हराया. लेकिन फाइनल मुकाबले में वह 1-4 स हार गई और उन्हें सिल्वर मेडल से ही संतोष करना पड़ा. 64 किग्रा के सेमीफाइनल में भारत की सिमरनजीत कौर को चीन की डोउ डैन के हाथों शिकस्त झेलनी पड़ी और यहां भारत को ब्रॉन्ज मेडल से ही संतोष करना पड़ा.
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Nov 24, 2018
भारत के खाते में एक गोल्ड आ चुका है, लेकिन विश्व चैंपियनशिप में भारत का सुनहरा सफर अभी थमा नहीं है. सोनिया चहल कुछ देर में 57 किग्रा भाग वर्ग के खिताबी मुकाबले में उतरेंगी. उनके सामने ओमेला की चुनौती होगी.
इस गोल्ड मेडल के साथ ही मैरी ने केटी टेलर को पीछे छोड़ दिया है. टेलर के नाम विश्व चैंपियनशिप में पांच गोल्ड मेडल थे. वहीं भारत की यह दिग्ग्ज मुक्केबाज यूबा के फेलिक्स सैवॉन के रिकॉर्ड की बराबरी कर ली है. सैवॉन के नाम इस चैंपियनशिप में छह गोल्ड मेडल है.
आंखों में आंसू लिए मैरी सभी का अभिवादन कर रही है. जीत के बाद मैरी अधिक भावुक हो गई.
पांचों जजों ने ब्लू कॉर्नर को 48 किग्रा का विश्व चैंपियन घोषित किया. यानी भारत की मैरी कॉम ने छठीं बार गोल्ड मेडल जीत लिया है.
मुकाबला हो चुका है और अब अधिकारिक रूप में विजेता की घोषणा होना बाकी है.
तीसरे राउंड के शुरुआत में मैरी हेना के हौसले को तोड़ने में लगभग कामयाब रही. हालांकि आखिरी के क्षणों में हेना काफी ज्यादा अटैकिंग हो गई थी और उन्होंने लगातार पंच जड़े. लेकिन इस राउंड में मैरी के लगे सटीक पंच उन्हें विश्व चैंपियन बनाने के लिए काफी था. हालांकि हेना को लगा वह जजों को प्रभातिव करने में कामयाब रही, इसीलिए बेल बजने से पहले ही उन्होंने हाथ उठाकर खुद को विजेता घोषित किया.
मैरी कॉम ने अब तक विश्व चैंपियनशिप में पांच गोल्ड और एक सिल्वर मेडल नाम किया है. 2002 से 2010 तक गोल्ड मेडल जीता. 2001 में सिल्वर अपने नाम किया.
दूसरा राउंड: स्टेडियम में सिर्फ मैरी, मैरी ही गूंज रहा है. शानदार सपोर्ट, दूसरे राउंड में मैरी ने यूक्रेन की खिलाड़ी को खुद के करीब तक आने नहीं दिया और उनको पूरे रिंग के चक्कर कटवाए. मुकाबले भारत के पक्ष में दिख रहा है.
दूसरे राउंड में हेना ज्यादातर हाई गार्ड के साथ खेल रही है. लेकिन मैरी के फिर भी कुछ जगह खोज ही ली.
पहले राउंड में मैरी हावी रही. एक समय वह हेना पर दबाव बनाने के कारण उनके साथ रिंग में नीचे गिर गई थी, लेकिन उठते ही उन्होंने हेना पर लगातार अटैक किया. हेना हालांकि आसानी से मैरी के पंच की पहुंच में नहीं आ रही.
पहला राउंड शुरू हो चुका हैं और मैरी ने आते ही पंच बरसाने शुरू कर दिए हैं. मैरी की शानदार शुरुआत. हालांकि हेना खुद को मैरी के पंचों के अच्छा बचाव कर रही है.
ब्लू कॉर्नर मैरीकॉम भी रिंग में आ गई हैं. स्टेडियम दर्शकों से खचाखच भरा हुआ है. दर्शकों ने खड़े होकर और तालियों के साथ मैरी का उत्साह बढ़ाया.
यूक्रेन की हेना ओखोटा रिंग में आ चुकी है, जो रेड कॉर्नर हैं. सेमीफाइनल में हेना ने जापान की वाडा को हराया था.
मैरीकॉम फाइनल बाउट के लिए तैयारी हो रही है. काउंट डाउन शुरू हो गया है.
मैरी का यह 7वां पदक होगा . उनके छह पदकों में पांच गोल्ड और एक सिल्वर है.मैग्निफिसेंट मैरी के नाम से मशहूर मणिपुर की मुक्केबाज अगर शनिवार को गोल्ड जीतने में कामयाब होती हैं, तो वो क्यूबा के फेलिक्स सैवॉन की बराबरी कर लेंगी. पुरुष वर्ग में क्यूबाई मुक्केबाज वर्ल्ड चैंपियनशिप के इतिहास में सबसे कामयाब है.
सेमीफाइनल में मैरी ने नॉर्थ कोरिया की किम हयांग को 5-0 से मात दी थी.
भारत की दिग्गज मुक्केबाज मैरीकॉम और यूक्रेन की हेना ओखोटा के बीच विश्व चैंपियन बनने के लिए फाइट शुरू होने वाली है. अगर आज मैरी गोल्ड जीतने में सफल रहती है तो वह इतिहास रच देंगी.
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