पटना में जेडीयू की राज्य कार्यकारिणी की बैठक को संबोधित करते हुए जेडीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने लोकसभा चुनाव में बीजेपी के साथ गठबंधन के मुद्दे पर सहमति होने का ऐलान कर दिया. नीतीश कुमार ने कहा, ‘सारी बातचीत हो चुकी है जो कि बहुत ही कॉन्फिडेंशियल है. बात इतनी कॉन्फिडेंशियल है कि मेरे अगल-बगल रहने वालों को भी इसकी भनक नहीं है. बीजेपी ने उन्हें कितनी सीटें दी है इसका राज वह अभी नहीं खोलेंगे.’ नीतीश ने कहा ‘बीजेपी ने उन्हें ऐसा करने से मना किया है.’
जेडीयू-बीजेपी में बनी बात !
बिहार की कार्यकारिणी की बैठक में नीतीश कुमार के ऐलान के बाद अब जेडीयू-बीजेपी के बीच गठबंधन को लेकर चल रही किसी तरह की खींचतान के कयासों पर विराम लग गया है. जेडीयू सूत्रों के मुताबिक, 'जेडीयू के खाते में 15 सीटें मिल सकती हैं. हालांकि, एक और सीट पर अभी बातचीत चल रही है. यानी समझौते के मुताबिक, जेडीयू 15 से 16 सीटों पर चुनाव लड़ सकती है. हालांकि अभी यह खुलासा नहीं हो पाया है कि जेडीयू को मिली सीटों में झारखंड और यूपी में भी लोकसभा की एक-दो सीट होगी या नहीं.
जेडीयू सूत्रों के मुताबिक, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पार्टी की कार्यकारिणी की बैठक में पार्टी प्रवक्ताओं को भी बीजेपी के साथ सीट शेयरिंग पर चुप रहने की नसीहत दी है.
पूरे मामले को बेहद कॉन्फिडेंशियल बताना और दूसरी तरफ सीट शेयरिंग पर कंफिडेंस दिखाना साफ संकेत दे रहा है कि नीतीश कुमार की बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह से मुलाकात के बाद जो माहौल बना था वो सही दिशा में जा रहा है.
जेडीयू के प्रवक्ता और विधान पार्षद नीरज कुमार फर्स्टपोस्ट से बातचीत के दौरान कहते हैं ‘सीट शेयरिंग के मुद्दे पर जिन लोगों ने विवाद पैदा करने और भ्रम फैलाने की कोशिश की थी उन्हें अब औंधे मुंह गिरना पड़ा है. जेडीयू की राज्य कार्यकारिणी की बैठक में स्पष्ट हो गया है कि अपने कार्यक्रम की बदौलत और अपने काम की बदौलत जेडीयू हर चुनौतियों का मुकाबला करने के लिए तैयार है.’
नीतीश के ऐलान से नाराज दूसरे सहयोगी
लेकिन, जेडीयू-बीजेपी के साथ सीट शेयरिंग का मुद्दा फाइनल होने की बात कहे जाने पर एनडीए के दूसरे सहयोगी अनजान हैं. उन्हें लगता है कि बड़ी पार्टी होने के नाम पर जेडीयू और बीजेपी की तरफ से उनकी उपेक्षा की जा रही है. बिहार में एनडीए की सहयोगी आरएलएसपी ने नीतीश कुमार के राज्य कार्यकारिणी में गठबंधऩ पर दिए बयान को यूनिलेटरल (एकतरफा) फैसला बताया है.
आरएलएसपी के इंटेलेक्चुएल सेल के प्रमुख सुबोध कुमार का कहना है ‘यह एरोगेंस ऑफ पावर है.’ सुबोध कुमार ने फ़र्स्टपोस्ट से बातचीत में नीतीश कुमार के बयान को ‘व्याकुलता की निशानी’ बताया है. उनका मानना है ‘इस तरह से एकतरफा ऐलान नहीं होना चाहिए था, बल्कि, कोऑर्डिनेशन के जरिए बात होनी चाहिए थी.’ उन्होंने मांग की है ‘जल्द से जल्द एनडीए के सभी घटक दलों के साथ बैठक कर सीट शेयरिंग पर अंतिम फैसला कर लेना चाहिए.’
उधर आरएलएसपी से अलग राह पर चल रहे जहानाबाद से सांसद अरुण कुमार भी इस फैसले को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और सुशील मोदी दोनों पर प्रहार कर रहे हैं. अरुण कुमार ने फ़र्स्टपोस्ट से बातचीत में बताया, ‘बिहार में नीतीश कुमार और सुशील मोदी का मिलन ही राज्य के हित में नहीं है. यहां शिक्षा का कबाड़ा बना दिया गया है, कानून-व्यवस्था ध्वस्त है, शिक्षा मंत्री कह रहे हैं कि बिहार में फर्जी शिक्षक हैं.’ अरुण कुमार बिहार में मुख्यमंत्री-उपमुख्यमंत्री की जोड़ी के खिलाफ ही लड़ाई की बात कर रहे हैं.
हालांकि एलजेपी की तरफ से कोई तल्ख प्रतिक्रिया नहीं आई है, लेकिन, पार्टी सूत्रों के मुताबिक, बिहार में जेडीयू-बीजेपी के साथ मिलकर ही एलजेपी चुनाव लड़ेगी.
बिहार में एनडीए के सहयोगी उपेंद्र कुशवाहा की पार्टी की तरफ से जिस तरह संकेत दिया जा रहा है उससे साफ है कि कुशवाहा किसी भी कीमत पर कम सीटों पर समझौते के मूड में नहीं हैं. उनकी पार्टी के नेता लोकसभा में जेडीयू से बड़ी पार्टी होने की बात कर रहे हैं. लेकिन, नीतीश कुमार की एनडीए में वापसी के बाद पूरा समीकरण बदल गया है. अब बातचीत की टेबल पर अनदेखी से एनडीए के दूसरे दल नाराज हो रहे हैं.
दशहरा बाद नीतीश कैबिनेट का विस्तार
लेकिन, नीतीश कुमार ने बीजेपी के साथ बात बनने के बाद अब लोकसभा चुनाव से पहले संगठन और सरकार दोनों को चुस्त करने का फैसला किया है. उम्मीद की जा रही है कि दशहरा के बाद नीतीश कैबिनेट का विस्तार किया जाएगा, जिसमें वक्त के हिसाब से कुछ नए चेहरों को जगह दी जाएगी, जबकि कुछ पुरानों की छुट्टी भी की जाएगी.
जेडीयू सूत्रों के मुताबिक, 'कैबिनेट विस्तार से पहले ब्लॉक से लेकर जिला और राज्य स्तर पर 20 सूत्री कमिटी का गठन किया जाएगा. 20 सूत्रीय इस कमेटी के गठन के बाद आयोग और बोर्ड-निगम में खाली पड़े पदों को भरा जाएगा. कहा जा रहा है कि बोर्ड और निगमों में जेडीयू के नेताओं को पद पर बैठाने के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार कैबिनेट का विस्तार करेंगे.
नीतीश कुमार बीजेपी के साथ ‘कॉन्फिडेंशियल’ बातचीत के बाद भले ही ज्यादा आश्वस्त लग रहे हों, लेकिन, दूसरे सहयोगियों के रुख को देखकर लोकसभा चुनाव से पहले बिहार में एनडीए में उलटफेर की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता.
राजभवन में हुई इस मीटिंग में पुलवामा हमले के बाद राज्य के लॉ एण्ड ऑर्डर पर चर्चा हुई
भारतीय वायुसेना की ओर से भारत-पाकिस्तान सीमा के पास युद्धाभ्यास आयोजित किया गया.
एक तरफ जहां चीन ने पुलवामा आतंकी हमले की निंदा की है, वहीं दूसरी तरफ मसूद अजहर को बैन पर रोड़ा अटका रहा है
गूगल पर इस तरह की गलतियों का ये कोई नया या पहला मामला नहीं है. पिछले साल गूगल पर 'idiot' सर्च करने पर अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की फोटो आती थी
उप राष्ट्रपति ने कहा, 'हमें विश्वास है कि हमारे फौजी सही समय पर उन्हें सबक सिखाएंगे