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फिर उमड़ा कुमारस्वामी के भाई का ज्योतिष प्रेम, सरकार का संकट टालने को निकाला बजट का 'शुभ समय'

रेवन्‍ना हिंदू कर्मकांड में काफी विश्‍वास रखते हैं. उन्‍होंने सरकार पर मंडरा रहे खतरे के बीच बुरे समय को टालने के लिए सीएम कुमारस्‍वामी से कहा कि वह दोपहर 12.35 बजे के बाद ही बजट पेश करें

Updated On: Feb 06, 2019 10:08 AM IST

FP Staff

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फिर उमड़ा कुमारस्वामी के भाई का ज्योतिष प्रेम, सरकार का संकट टालने को निकाला बजट का 'शुभ समय'

कर्नाटक के सार्वजनिक निर्माण विभाग (PWD) मंत्री एचडी रेवन्‍ना एक बार फिर से सुर्खियों में हैं. इस बार वे कर्नाटक बजट पेश करने के लिए 'शुभ समय' तय करने के चलते खबरों के केंद्र में हैं. कर्नाटक के मुख्‍यमंत्री एचडी कुमारस्‍वामी शुक्रवार को अपना दूसरा बजट पेश करेंगे. रेवन्‍ना और कुमारस्‍वामी दोनों भाई हैं.

रेवन्‍ना हिंदू कर्मकांड में काफी विश्‍वास रखते हैं. उन्‍होंने सरकार पर मंडरा रहे खतरे के बीच बुरे समय को टालने के लिए सीएम कुमारस्‍वामी से कहा कि वह दोपहर 12.35 बजे के बाद ही बजट पेश करें. रेवन्‍ना ने कहा कि सुबह 11.07 बजे से लेकर दोपहर 12.33 बजे तक राहु काल है जो कि ज्‍योतिष के अनुसार बुरा समय है.

खबर है कि रेवन्‍ना ने कुमारस्‍वामी से कहा कि यदि वह राहु काल में बजट पेश करेंगे तो इससे सरकार और सीएम पद पर अच्‍छा असर नहीं पड़ेगा. कुमारस्‍वामी कोई भी बड़ा काम अपने भाई की सलाह के बिना नहीं करते हैं इसलिए उन्‍होंने बजट का समय दोपहर 12.35 बजे तय किया.

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भारत में नेताओं के अंधविश्‍वासों के चलते धार्मिक आस्‍था को मान्‍यता देना कोई नई बात नहीं है. पिछले दिनों चंद्रग्रहण के दौरान कर्नाटक में लगभग सभी दलों के नेताओं ने 'नकारात्‍मक ऊर्जा' का हवाला देते हुए काम नहीं किया था. लेकिन कर्नाटक में बाकी राजनेताओं की तुलना में गौड़ा परिवार कुछ ज्‍यादा ही अंधविश्‍वासी है.

मंत्री बनने के बाद शुरुआती दिनों में रेवन्‍ना अपने विधानसभा क्षेत्र हसन के होलेनारासिपुरा से रोजाना बेंगलुरु जाते थे. इस दौरान वे रोज 350 किलोमीटर की यात्रा करते थे. उन्‍हें उनके एक ज्‍योतिषी ने कहा था कि जब तक वह मंत्री हैं तब तक वह बेंगलुरु वाले घर में ही सोएं.

बताया जाता है कि ज्‍योतिषी ने यह भी कहा था कि अगर ऐसा नहीं करेंगे तो जेडीएस-कांग्रेस की गठबंधन सरकार गिर जाएगी. इसके बाद रेवन्‍ना तकरीबन छह महीने इस बात को मानते रहे. बाद में उन्‍होंने विशेष पूजा के जरिए रोजाना की 350 किलोमीटर की यात्रा के नियम को छोड़ा.

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ज्‍योतिष में उनके भरोसे का एक और उदाहरण है. मंत्रीमंडल की शपथ के दौरान उन्‍होंने छह जून को दोपहर ठीक 2.12 बजे शपथ लेने का फैसला किया. उन्‍हें सबसे वरिष्‍ठ मंत्री आरवी देशपांडे के बाद शपथ लेना था लेकिन रेवन्‍ना ने नियम तोड़ते हुए पहले खुद का नंबर लगाया.

कुमारस्‍वामी की अहम बैठकों को 'शुभ' समय पर तय करने का जिम्‍मा भी रेवन्‍ना ही संभालते है. 2006 में जब कुमारस्‍वामी पहली बार सीएम बने थे तो उनके आधिकारिक निवास 'अनुग्रह' को वास्‍तु के निर्देशों के अनुसार तैयार करने का काम भी रेवन्‍ना ने कराया था. हालांकि उस समय बीजेपी के साथ गठबंधन वाली उनकी सरकार ज्‍यादा लंबी नहीं चली थी.

(न्यूज-18 के लिए शरत शर्मा कलागारू की रिपोर्ट)

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