पाटीदार नेता हार्दिक पटेल ने कहा है कि अगर पूरे देश की क्षेत्रीय राजनीतिक पार्टियां एकजुट नहीं हूईं तो 2019 के बाद कोई भी चुनाव नहीं होगा. अलीबाग में संभाजी ब्रिगेड महाराष्ट्र के सम्मेलन में बोलते हुए पटेल ने कहा कि- 'अगर सरकार मराठा और धांगड़ समुदाय की मांगों को पूरा नहीं करती है तो 2019 के लोकसभा चुनाव बीजेपी के लिए सही नहीं होंगे.'
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक पटेल का कहना है कि 2019 के लोकसभा चुनाव मोदी और किसानों के बीच लड़ा जाएगा. पटेल ने कहा- '2019 के चुनावों में मोदी सरकार के खिलाफ लोग ही लड़ेंगे. और मैं सड़कों पर उतरकर उनका साथ दूंगा. मेरा काम लोगों को जागरुक करना है, किसी राजनीतिक पार्टी का समर्थन करना नहीं.'
लोकतंत्र को मज़बूत करने वाली सरकारी स्वतंत्र संस्थाओं का नैतिक पतन सिद्धांतहीन राजनीत का स्वाभाविक दुष्परिणाम हैं।लोकतंत्र को ख़त्म करने वाली राष्ट्रविरोधी ताक़तें देश के संविधान को नहीं हरा सकती.देश का संविधान किसी महाग्रंथ से कम नहीं हैं।संविधान की मूल आत्मा ही देश का अभिमान है
— Hardik Patel (@HardikPatel_) October 26, 2018
पटेल ने मराठा मोर्चा को एक राजनीतिक ड्रामा करार दिया और कहा कि हर राजनीतिक पार्टी इससे फायदा उठाने की कोशिश करेगी. इसके साथ ही पटेल ने कहा कि महाराष्ट्र में शिवाजी मेमोरियल बनाने के बजाए सरकार को लोगों के लिए रोजगार के नए अवसर पैदा करने की कोशिश करनी चाहिए. इसके पहले पिछले महीने ही पटेल ने किसानों की कर्ज माफी और नौकरियों के साथ साथ शिक्षण संस्थानों में पाटीदार समुदाय को आरक्षण के मुद्दे पर आमरण अनशन किया था. हालांकि 19वें दिन उन्होंने अपना अनशन खत्म कर लिया था.
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