हाल ही में केंद्र सरकार ने उन शहरों की सूची जारी की है जो भूकंप के लिहाज से सबसे खतरनाक जोन 5 और 4 में आते हैं. राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली अधिक तीव्रता वाले जोन 4 में आती है. जहां रिक्टर पैमाने पर 8 तीव्रता वाला भूकंप आ सकता है.
इसके आसपास कई बड़े भूकंप आ चुके हैं. वैज्ञानिक प्रयासों से भूकंप के प्रभावों को कम करने के लिए केंद्र सरकार ने दिल्ली क्षेत्र की जमीन के नीचे की मिट्टी की जांच करवाकर यह पता किया है कि इसके कौन से क्षेत्र सबसे ज्यादा संवेदनशील हैं.
जमीन के भीतर के संरचना पर होने वाले अध्ययन को सिस्मिक माइक्रोजोनेशन कहते हैं. मिट्टी की संवेदनशीलता जांच कर इसे भूकंपीय खतरे के लिहाज से नौ जोन में बांटा गया है. यह रिपोर्ट पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय ने करीब एक साल पहले जारी की थी. लेकिन इस पर ज्यादा चर्चा नहीं हुई.
इस रिपोर्ट में पता चला है कि घनी आबादी वाले यमुनापार समेत तीन जोन सर्वाधिक खतरनाक हैं. दिल्ली में भूकंप की आशंका वाले इलाकों में यमुना तट के करीबी इलाके, पूर्वी दिल्ली, शाहदरा, मयूर विहार, लक्ष्मी नगर आदि शामिल हैं. यह रिपोर्ट भू-विज्ञान और मौसम विज्ञान से जुड़े करीब 80 वैज्ञानिकों की मदद से तैयार की गई.
मिट्टी के नमूने लेने के लिए भू-वैज्ञानिकों ने राजधानी दिल्ली में करीब पांच सौ जगहों पर 30 मीटर और उससे अधिक नीचे तक ड्रिलिंग की. इससे मिट्टी की स्ट्रेंथ का पता किया. उससे जानकारी मिली कि भूकंप के लिहाज से कौन से क्षेत्र सुरक्षित और खतरनाक हैं.
दिल्ली की तरह ही कोलकाता और बेंगलुरु में भी जमीन के भीतर के संरचना की जांच की गई है. माइक्रोजोनिंग के काम में शामिल रहे सिस्मोलॉजिस्ट डॉ. एचएस मंडल इसका फायदा बताते हैं. उनका कहना है कि जब भूकंप आता है तो मकान का भविष्य काफी हद तक जमीन की संरचना पर भी निर्भर करता है.
जैसे यदि भवन नमी वाली सतह यानी रिज क्षेत्र या किसी ऐसी मिट्टी के ऊपर बना है जो लंबे समय तक पानी सोखती है तो उसे खतरा ज्यादा है. क्योंकि वहां भूकंप आने पर मिट्टी लूज हो जाती है. जहां मिट्टी शुष्क या बालू वाली हो, पत्थर की चट्टानें नीचे हों तो वहां भूकंप के दौरान अलग-अलग प्रभाव होते हैं.
सूत्रों का कहना है कि माइक्रोजोनिंग की रिपोर्ट केंद्र सरकार को सौंपी गई है. इसमें सिफारिश की गई है कि भवन निर्माण के दौरान माइक्रोजोनिंग के आधार पर भवनों में भूकंपरोधी तकनीक इस्तेमाल की जाए.
(न्यूज़ 18 से साभार ओम प्रकाश की रिपोर्ट)
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