सुप्रीम कोर्ट ने महिलाओं पर हो रहे अत्याचारों के खिलाफ बड़ा फैसला सुनाते हुए कहा है कि पत्नी के इजाजत के बिना पति उसे अपने साथ रहने के लिए मजबूर नहीं कर सकता. अदालत ने अपना फैसला सुनाते हुए कहा, 'पत्नी कोई 'चल संपत्ति' या 'वस्तु' नहीं है. पति उसे जबरन अपने पास नहीं रख सकता.'
यह फैसला सुप्रीम कोर्ट ने एक महिला की तरफ से अपने पति के खिलाफ दायर आपराधिक केस की सुनवाई के दौरान सुनाया. महिला ने अपने आरोप में कहा था कि पति चाहता है कि वह उसके साथ रहे लेकिन वह खुद उसके साथ नहीं रहना चाहती है.
जज मदन बी लोकुर और जज दीपक गुप्ता की पीठ ने अदालत में मौजूद शख्स से कहा, ‘वह एक चल संपत्ति नहीं है. आप उसे मजबूर नहीं कर सकते. वह आपके साथ नहीं रहना चाहती हैं. आप कैसे कह सकते हैं कि आप उसके साथ रहेंगे.’
अदालत ने उससे कहा, ‘आपके लिए इस पर पुनर्विचार बेहतर होगा.’
कोर्ट ने पूछा, ‘आप इतना गैर-जिम्मेदार कैसे हो सकते हैं? महिला के साथ चल संपत्ति की तरह व्यवहार कर रहे हैं. वह एक वस्तु नहीं है.’
इस मामले की अगली सुनवाई 8 अगस्त को होगी.
यशवंत सिन्हा के राजनीति से संन्यास लेने के बाद अटकलें थीं कि शत्रुघ्न सिन्हा कोई बड़ा फैसला ले सकते हैं
कर्नाटक में 12 मई को चुनाव होने हैं जिनके नतीजे 15 को आएंगे
रायबरेली दौरे पर गए बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह की रैली के दौरान शॉर्ट-सर्किट की वजह से मंच के पास आग लग गई. हालांकि जल्द ही आग पर काबू पा लिया गया
श्रीधर पाटील को कठुआ का नया एसपी बनाया गया है. हालांकि अभी यह स्पष्ट नहीं है कि सुलेमान चौधरी का तबादला इस संबंध में हुआ है या फिर विभागीय प्रक्रिया के तहत
जिन लोगों को किराए की संपत्ति से भी आय होती है उन्हें भी कई नई जानकारियां फॉर्म में भरनी होंगी