एक तरफ प्रियंका गांधी अपनी नई राजनीतिक पारी का आगाज करने वाली हैं तो वहीं मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों को झेल रहे उनके पति रॉबर्ट वाड्रा लगातार जांच से गुजर रहे हैं. ऐसे में माना जा रहा हैं कि कहीं रॉबर्ट वाड्रा पर लगे भ्रष्टाचार के आरोप प्रियंका गांधी के लिए मुसीबत न बन जाएं. ऐसे में ये जानना दिलस्प है कि आखिर रॉबर्ट वाड्रा हैं कौन और किन-किन में विवादों में शामिल है इनका नाम.
18 अप्रैल 1969 को उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद में जन्में रॉबर्ट वाड्रा शायद पहले ऐसे शख्स हैं जो कभी राजनीति में तो नहीं रहे लेकिन राजनीति में मुद्दों के केंद्र में हमेशा बने रहे.
पारिवारिक पृष्ठभूमि
रॉबर्ट वाड्रा मूल रूप से पाकिस्तान के सियाल कोट से हैं. उनके दादा विभाजन के समय भारत आकर बस गए थे. उनके पिता राजेंद्र वाड्रा बिनेसमैन थे और उनकी मां स्कॉटलैंड की रहने वाली हैं. वाड्रा के एक भाई और एक बहन भी थी. साल 2001 में बहन की कार एक्सीडेंट में मौत हो गई और 2003 में भाई ने आत्महत्या कर ली. इसके बाद 2009 में उनके पिता की भी मौत हो गई. माना जाता है कि वाड्रा अपनी मां के बेहद करीब हैं. वाड्रा के परिवार में अब उनकी मां, प्रिंयका और उनके दो बच्चे हैं. कहा जाता है कि रॉबर्ट वाड्रा और प्रियंका गांधी के रिश्ते को लेकर रॉबर्ट वाड्रा के पिता नाखुश थे. कहा जाता है कि इसी वजह से दोनों (रॉबर्ट वाड्रा और उनके पिता) के रिश्तों में दरार भी आ गई थी.
रॉबर्ट वाड्रा सबसे पहले चर्चा में तब आए जब 18 फरवरी 1997 को उनकी शादी राजीव गांधी और सोनिया गांधी की बेटी प्रिंयका गांधी से हुई. उस समय हर कोई इस नवविवाहित जोड़े के बारे में जानना चाहता था. इसके बाद दूसरी वजह जिसकी वजह से रॉबर्ट वाड्रा चर्चाओं में आए वो हैं उनके विवाद. एक के बाद एक रॉबर्ट वाड्रा ऐसे कई विवादों में फंसते चले गए जिसकी वजह विपक्ष कांग्रेस को निशाना बनाने लगा और पार्टी की जमकर फजीहत हुई. आइए जानते हैं कि वो विवाद क्या थे.
वाड्रा डीएलएफ विवाद
2012 में आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल ने आरोप लगाया था कि रियल इस्टेट कंपनी डीएलएफ ने रॉबर्ट वाड्रा को दिल्ली और आसपास के इलाकों में संपत्ति खरीदने के लिए 'गैरजमानती ब्याज मुक्त कर्ज दिया था'. इसके साथ ही वाड्रा पर आरोप है कि खुद को फायदा पहुंचाने के लिए उन्होंने गांधी परिवार के नाम का भी गलत इस्तेमाल किया. हालांकि डीएलएफ और वाड्रा, दोनों ने ही अपने ऊपर लगे इस आरोप से इनकार करते आए हैं. इस मामले की जांच फिलहाल जारी है.
इस मामले में IAS ऑफिसर अशोक खेमका को व्हिसल ब्लोअर की भूमिका में माना जाता है. अशोक खेमका वहीं है जिनका सरकार के फैसलों के खिलाफ आवाज उठाने के चलते 23 सालों में 45 बार ट्रांसफर हुआ. अशोक खेमका का आरोप है कि कांग्रेस सरकार उन्हे इसलिए निशाना बनाती थी क्योंकि उन्होंने वाड्रा और डीएलएफ के बीच हुए समझौते को रद्द कर दिया था.
जब फेसबुक पोस्ट से विवादों में घिरे वाड्रा
पहली बार भ्रष्टाचार के आरोपों में घिरने के बाद रॉर्बट वाड्रा ने फेसबुक पर एक पोस्ट लिखा था जिसकी वजह से उन्हें अपान फेसबुक अकाउंट बंद करना पड़ा. वाड्रा ने ये पोस्ट भी 2012 में लिखा था. वाड्रा ने अपनी पोस्ट में लिखा था, Mango people in banana repbulic. वाड्रा के इस पोस्ट से लोगों ने समझा की वाड्रा देश के लोगों को 'मेंगो पीपल' कह रहे हैं और देश को 'बनाना रिपबलिक' बता रहे हैं. रॉबर्ट वाड्रा के इस पोस्ट के बाद एक बार फिर विवाद खड़ा हो गया और उन्होंने अपना फेसबुक अकाउंट बंद कर दिया.
एयरपोर्ट पर सुरक्षा जांच को लेकर विवाद
इसके अलावा रॉबर्ट वाड्रा एयरपोर्ट सुरक्षा जांच को लेकर भी विवादों का सामना कर चुके हैं. दरअसल डोमेस्टिक एयरपोर्ट पर कुछ लोगों को सुरक्षा जांच से मुक्त रखा गया है. इन लोगों में रॉबर्ट वाड्रा का नाम भी शामिल था, जिसपर काफी दिनों तक बहस होती रही. फिर एक दिन बताया गया कि इस लिस्ट से रॉबर्ट वाड्रा का नाम हटा लिया गया. हालांकि इसके बाद कई ऐसी खबरें आई जिनमें बताया गया कि रॉबर्ट वाड्रा को दूसरे जगहों के एयरपोर्ट्स में अभी भी जांच से मुक्त रखा गया है.
लंदन में अघोषित संपत्ति का आरोप
फिलहाल ईडी जिस मामले को लेकर वाड्रा से पूछताछ कर रही है वो विदेशों में मौजूद अघोषित संपत्ति से जुड़ा मामला है. मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में ईडी के सामने पहली बार रॉबर्ट वाड्रा पेश हुए हैं और उनसे पूछताछ हुई.
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