पुलवामा हमले के बाद शनिवार को एक मामला सामने आया था. बताया जा रहा था कि देहरादून के एक हॉस्टल में 15 से 20 कश्मीरी लड़कियों को कैद करके रखा गया है. हालांकि पुलिस ने अब इस खबर को अफवाह बताया है.
दरअसल खबरों में बताया जा रहा था कि इन लड़कियों ने हमले के बाद पाकिस्तान के समर्थन में नारे लगाए थे जिससे गुस्साई भीड़ ने घंटो तक उन लड़कियों को हॉस्टल में कैद करके रखा. बताया ये भी जा रहा था कि उस वक्त वहां पुलिस भी मौजूद थी लेकिन वो भी भीड़ को काबू नहीं कर पाई.
अब इस मामले में उत्तराखंड पुलिस ने एक नोटिफिकेशन जारी की है जिसमें इस खबर को अफवाह बताया गया है. पुलिस का कहना है कि कुछ लोग अफवाह फैला रहे हैं कि गुस्साई भीड़ ने 15-20 कश्मीरी लड़कियों को हॉस्टल में कैद करके रखा.
Don't Believe In Rumours pic.twitter.com/4WpoSCq1zz
— Uttarakhand Police (@uttarakhandcops) February 16, 2019
पुलिस ने इस नोटिफिकेशन को ट्विटर पर जारी किया है. इसके साथ ये भी लिखा गया है कि अफवाहों पर विश्वास न करें. इसमें बताया गया है कि ये खबर गलत है. पुलिस ने मामले को सुलझा लिया है. शुरुआत में लड़कियों के पाकिस्तान के समर्थन में नारे लगाने को लेकर कुछ कंफ्यूजन था, जिसे बाद में सुलझा लिया गया. नोटिफिकेशन में पुलिस ने बताया कि लड़कियों को कैद करने को लेकर जो खबर फैलाई जा रही है वो सही नहीं है. पुलिस ने बताया कि वहां कोई भीड़ नहीं थी.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक बताया जा रहा था कि शनिवार को कुछ लोग पुलवामा हमले के विरोध में कैंडल लाइट मार्च निकाल रहे थे. जैसे ही ये मार्च हॉस्टलके सामने आया, कुछ लड़कियों ने छत से पाकिस्ताने के समर्थन में नारेबाजी शुरू कर दी थी. जिसके बाद वहां मौजूद भीड़ धरने पर बैठ गई थी.
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