सीबीआई के नए निदेशक पर सोमवार को कॉलेजिएम की बैठक होने वाली है. सीबीआई डायरेक्टर का चयन करने वाले कॉलेजिएम में देश के प्रधानमंत्री, नेता प्रतिपक्ष और सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायधीश शामिल होते हैं. देश में लोकपाल कानून लागू होने के बाद सीबीआई डायरेक्टर का चयन एक कॉलेजिएम करता है. पिछले एक महीने से भी ज्यादा समय से सीबीआई निदेशक का पद खाली है.
सोमवार को होने वाली कॉलेजिएम की संभावित मीटिंग में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, सुप्रीम कोर्ट के प्रधान न्यायाधीश जगदीश सिंह खेहर और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे होंगे.
सूत्रों के अनुसार साल 2016 में ही सीबीआई निदेशक को सरकार बदलना चाह रही थी, पर ऐसा नहीं हो सका. मोदी सरकार देश के प्रधान न्यायाधीश टीएस ठाकुर के रहते सीबीआई के नए प्रमुख का चयन करने से बच रही थी. टीएस ठाकुर का कार्यकाल जैसे ही खत्म हुआ सरकार ने कॉलेजिएम की बैठक बुला ली.
बीते 2 दिसंबर से सीबीआई निदेशक का पद खाली है. सरकार ने 1984 बैच के गुजरात कैडर के आईपीएस अधिकारी राकेश अस्थाना को बतौर इंचार्ज डायरेक्टर बनाया है.
राकेश अस्थाना की नियुक्ति पर सवाल
राकेश अस्थाना को इंचार्ज डायरेक्टर बनाने से कुछ घंटे पहले सरकार ने सीबीआई में नंबर 2 रहे विशेष निदेशक आर के दत्ता को गृह मंत्रालय भेज दिया था. आर के दत्ता को गृहमंत्रालय में भेजे जाने पर विवाद शुरू हो गया था. वरिष्ठता क्रम में राकेश अस्थाना आर के दत्ता से नीचे आते हैं.
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सतीश माथुर रेस में सबसे आगे
सीबीआई के नए निदेशक की रेस में तो वैसे कई नाम चल रहे हैं, लेकिन नए घटनाक्रम के बाद महाराष्ट्र कैडर के 1981 बैच के आईपीएस अधिकारी सतीश माथुर का नाम रेस में आगे हो गया है. सरकार के विश्वस्त सूत्र बताते हैं कि सतीश माथुर के नाम पर मुहर लगा दी गई है. सतीश माथुर वर्तमान में महाराष्ट्र के डीजीपी हैं
और कई नाम हैं जिन पर विचार किए जाएंगे.
कृष्णा चौधरी
बिहार कैडर के 1979 बैच की आईपीएस अधिकारी कृष्णा चौधरी भी रेस में चल रहे हैं. वर्तमान में वो आईटीबीपी के डीजी हैं. यह भी ध्यान देने वाली बात है कि पिछले दो सीबीआई निदेशक बिहार से रहे हैं. कृष्णा चौधरी के नाम पर अगर फैसला होता है, तो वे तीसरे निदेशक होंगे जो बिहार से आते हैं. कृष्णा चौधरी का सीबीआई में काम करने का अनुभव भी है.
अरुणा बहुगुणा
1979 बैच की आईपीएस अधिकारी अरुणा बहुगुणा भी सीबीआई के नए डायरेक्टर के रेस में शामिल हो गई हैं. तेलंगाना कैडर आईरपीएस अधिकारी अरुणा बहुगुणा का नाम हाल के एक-दो हफ्ते से लिया जा रहा है. अरुणा इस वक्त सरदार वल्लभ भाई पटेल नेशनल पुलिस अकेडमी में डायरेक्टर के पद पर काम कर रही हैं.
अर्चना रामसुंदरम
1980 बैच की तमिलनाडु कैडर की अर्चना रामसुंदरम को सीबीआई में काम करने का अनुभव है. अर्चना वर्तमान में एसएसबी (सीमा सशस्त्र बल) की डीजी हैं. वर्तमान केंद्र सरकार की इनके बारे में राय अच्छी नहीं है
मीरा चंद्र बोरवणकर
1981 बैच की महाराष्ट्र कैडर की आईपीएस अधिकारी मीरा चंद्र बोरवणकर सीबीआई निदेशक के दौड़ में बनी हुई हैं. बोरवणकर का लंबा करियर बेदाग रहा है. सीबीआई के एंटी करप्शन विंग में डीआईजी के तौर पर भी काम कर चुकी हैं.
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रूपक कुमार दत्ता
1981 बीच के कर्नाटक कैडर के आईपीएस अधिकारी रूपक कमार दत्ता का सीबीआई में काम करने का अनुभव सबसे ज्यादा है. लेकिन उन्हें कांग्रेसी खेमे का अधिकारी बताया जाता है.
आलोक वर्मा
दिल्ली पुलिस कमिश्नर और 1979 बैच के यूटी कैडर के अधिकारी आलोक वर्मा का नाम भी लिया जा रहा है. आलोक वर्मा जून 2017 में रिटायर हो रहे हैं.
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