हुर्रियत कांफ्रेंस के कट्टरपंथी धड़े के प्रमुख सैयद अली शाह गिलानी ने कहा कि इस महीने के आखिर में शुरू होने वाली अमरनाथ यात्रा पर कोई खतरा नहीं है. गिलानी ने कहा कि श्रद्धालु हमारे प्यारे मेहमान हैं जिनकी बरसों पुरानी परंपराओं के हिसाब से स्वागत किया जाएगा.
श्रीनगर में रविवार रात गिलानी ने एक बयान जारी कर कहा कि अमरनाथ यात्रा पर आतंकी खतरे की बात सरासर झूठ है, जिसका मकसद (कश्मीर की) आजादी के आंदोलन को बदनाम करना है. कश्मीरी किसी भी धर्म या उसे मानने वाले लोगों के खिलाफ नहीं हैं. हालांकि वे अपने मौलिक अधिकारों के लिए एक जायज संघर्ष कर रहे हैं.
गिलानी ने कहा कि कश्मीर के लोग श्रद्धालुओं का हमेशा से शानदार स्वागत करते रहे हैं. खास कर अमरनाथ यात्रियों के प्रति दोस्ताना और उदार रहे हैं. उन्होंने कहा, यात्रा दशकों से चली आ रही है और यहां के लोग श्रद्धालुओं के साथ हमेशा से सेवा भाव से पेश आए हैं. इस साल भी आने वाले श्रद्धालुओं का मेहमानों की तरह स्वागत किया जाएगा.
अलगाववादी नेता ने श्रद्धालुओं को भरोसा दिया कि उनपर कोई खतरा नहीं है. उन्होंने खतरे की खबरों को भारतीय मीडिया का दुष्प्रचार करार दिया. उन्होंने 2008, 2010 और 2016 में घाटी में मौजूद स्थिति की तरफ संकेत करते हुए कहा कि तनावपूर्ण माहौल में भी रोकटोक के बावजूद लोगों ने श्रद्धालुओं का बांहें खोलकर स्वागत किया. उन्हें रहने को जगह और भोजन उपलब्ध कराया.
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