गंगा की सफाई को लेकर हाल ही में एक आरटीआई दाखिल की गई थी. इस आरटीआई के जवाब में सरकार ने कहा कि उसे नहीं पता कि गंगा की सफाई की क्या हालत है.
इसी के साथ सरकार ने खुलासा किया है कि गंगा की सफाई में अब तक 3,800 करोड़ रुपए खर्च हो चुके हैं. ऐसे में सवाल उठता है कि इतनी रकम कहां-कहां खर्च की गई और जमीनी स्तर पर कहां-कहां सफाई हुई है.
गंगा की सफाई को लेकर अभियान चला रही कार्यकर्ता जयंती ने सरकार से सवाल पूछा है कि क्या गंगा के घटते जसस्तर को लेकर सरकार के पास कोई जवाब है? गंगा में जमी गाद को हटाने के लिए सरकार क्या कदम उठा रही है? क्योंकि गाद हटाए बिना जलमार्ग का विकास असंभव है.
पीएम बनने से पहले मोदी ने किए थे कई दावे
प्रधानमंत्री बनने से पहले गंगा की सफाई के लिए नरेंद्र मोदी ने कई दावे किए थे. उनके पीएम बनने के बाद 'नमामि गंगे' नाम की एक परियोजना भी लाई गई और इसकी जिम्मेदारी उमा भारती को सौंपी गई. मगर अब तक गंगा की सफाई को लेकर सरकार के पास कोई जवाब नहीं हैं. आरटीआई याचिकाकर्ता और पर्यावरणविद् विक्रम तोगड़े कहते हैं, 'आरटीआई के तहत यह ब्योरा मांगा गया था कि अब तक गंगा की कितनी सफाई हुई है, लेकिन सरकार इसका कोई आंकड़ा उपलब्ध नहीं करा पाई.'
वह कहते हैं, 'सरकार क्या इतनी बात नहीं जानती कि गंगा में गंदे नालों के पानी को जाने से रोके बिना गंगा की सफाई नहीं हो सकती. नमामि गंगा के तहत सरकार ने गौमुख से गंगा सागर तक का जो हिस्सा कवर किया है, वहां के हालात जाकर देखिए, काई, गाद और कूड़े का ढेर देखने को मिलेगा. इसी तरह आप गढ़ गंगा यानी गढ़मुक्तेश्वर का हाल देख लीजिए. सफाई हुई कहां है और हो कहां रही है?'
पर्यावरणविद् कहते हैं, 'गंगा में पानी की भी कमी है. इसकी सहायक नदियों का अतिक्रमण हुआ है. सफाई के नाम पर खर्च अधिक हुआ है लेकिन फायदा कहीं दिख नहीं रहा है. कचरे के निपटान की व्यवस्था करनी भी ज़रूरी है. इसके लिए ट्रेनिंग नेटवर्क तैयार करना होगा.'
3-4 सालों में दिखेगा असर
पर्यावरणविद जयंती कहती हैं, 'समस्या यह है कि अभी जो काम हो रहा है, उसका असर अगले तीन से चार साल में देखने को मिलेगा लेकिन तब तक और गंदगी और कूड़ा इकट्ठा हो जाएगा. सरकार को नेचुरल ट्रीटमेंट प्रोसेस को शुरू करने की ज़रूरत है लेकिन लगता है कि सरकार गंभीर ही नहीं है.'
वह कहती हैं, 'सरकार ने 2020 तक 80 फीसदी गंगा साफ करने का लक्ष्य रखा है, लेकिन अभी तक कितनी साफ हुई है, इसका कोई रिकॉर्ड उपलब्ध नहीं कराया गया है. 2019 में कितनी गंगा साफ करेंगे इसका हिसाब भी किसी और को नहीं, सरकार को ही देना है.'
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