मंगलवार को भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने घोषणा की कि इंफोसिस के को-फाउंडर नंदन निलेकणि को उस कमेटी का अध्यक्ष बनाया गया है जो डिजीटल पेमेंट से जुड़े मामलों को देखेगी. निलेकणि यूआईडीएआई के पूर्व प्रमुख भी हैं. आरबीआई की जिस कमेटी का वह नेतृत्व करेंगे टाइम्स नाउ के मुताबिक उस हाई लेवल कमेटी में पांच सदस्य होंगे.
अध्यक्ष नेलाकणि के अलावा इस कमेटी में एच आर खान (पूर्व डिप्टी गवर्नर), किशोर संसी (पूर्व एमडी और सीईएफ विजया बैंक), अरुणा शर्मा (सूचना एंव तकनीक मंत्रालय की पूर्व सचिव) और संजय जैन (आईआईएम अहमदाबाद) शामिल होंगे. यह समिति देश में भुगतान के डिजिटलीकरण की मौजूदा स्थिति की समीक्षा करेगी. साथ ही समस्याओं की पहचान कर उनसे निपटने के सुझाव पेश करेगी.
कमेटी वित्तीय समावेशन में डिजिटल भुगतानों के वर्तमान स्तरों का भी आकलन करेगी. साथ ही डिजिटल भुगतानों के अधिक उपयोग के माध्यम से अर्थव्यवस्था के डिजिटलीकरण और वित्तीय समावेशन में तेजी लाने के लिए भारत में अपनाई जा सकने वाली तकनीक की पहचान करने के उद्देश्य से क्रॉस-कंट्री विश्लेषण भी करेगी.
टाइम्स नाउ की रिपोर्ट के मुताबिक डिजिटल भुगतान में सुरक्षा के उपाय और उन्हें मजबूत करने के सुझाव भी यह कमेटी देगी. कमेटी अपनी पहली मीटिंग के बाद 90 दिनों की अवधि में अपनी रिपोर्ट जमा करेगी.
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