आपके पास आधार नहीं है तो संभव है कि आपका नंबर बंद हो जाए. सभी मौजूदा मोबाइल उपभोक्ताओं को जल्द ही अपना आधार आधारित वेरिफिकेशन कराना पड़ सकता है. सरकार ने टेलिकॉम ऑपरेटर्स यह प्रक्रिया शुरू करने के निर्देश दे दिए हैं.
दूरसंचार सेवाप्रदाताओं के संगठन सीओएआई ने कहा कि उसकी सदस्य कंपनियां इस हफ्ते बैठक कर मौजूदा एक अरब से भी अधिक मोबाइल उपभोक्ताओं की प्रमाणन प्रक्रिया की रूपरेखा पर चर्चा करेंगी.
दूरसंचार विभाग के नोटिफिकेशन में कहा गया है, सभी लाइसेंसधारकों कंपनियों को सारे मौजूदा मोबाइल उपभोक्ताओं प्रीपेड और पोस्टपेड का आधार आधारित ई-केवाईसी (अपने ग्राहक को जानो) के माध्यम से फिर से वेरिफाई करना चाहिए.
अधिसूचना में कहा गया है कि सभी कंपनियों को अपने मौजूदा ग्राहकों को प्रिंट, इलेक्ट्रॉनिक और एसएमएस के माध्यम से उच्चतम न्यायालय के पुन:प्रमाणन के आदेश की सूचना देनी होगी. उन्हें इस प्रक्रिया की जानकारी अपनी वेबसाइट पर देनी चाहिए.
उल्लेखनीय है कि सुप्रीम कोर्ट ने इस साल फरवरी में आदेश दिया था कि नए उपभोक्ताओं के साथ-साथ सभी मोबाइल फोन उपभोक्ताओं का पता और पहचान सुनिश्चित करने के लिए प्रमाणन की एक प्रभावी प्रक्रिया विकसित हुई है. निकट भविष्य में विशेषकर आज से एक साल के भीतर मौजूदा उपभोक्ताओं के मामले में इसी तरह की प्रमाणन प्रक्रिया को पूर्ण कर लिया जाना चाहिए.