यूथ ओलिंपिक गेम्स में पहली बार उतरी भारतीय हॉकी टीम ने दोनों वर्ग में फाइनल में प्रवेश कर लिया है और वह इन गेम्स में एक सुनहरा अध्याय लिखने से सिर्फ एक कदम ही दूर है. भारतीय हॉकी टीम ने यूथ ओलिंपिक गेम्स में पहली बार हिस्सा लिया है और पहली बार में ही दोनों वर्गों में फाइनल तक पहुंच गई हैं.
पुरुष टीम ने मेजबान अर्जेंटीना को 3-1 से और महिला टीम ने चीन को 3-0 से आसानी से हराया. अब फाइनल में पुरुष टीम का सामना मलेशिया से और महिला टीम का सामना अर्जेंटीना से होगा. गौरतलब है कि 2014 में सिंगापुर यूथ ओलिंपिक से शुरू हुए हॉकी फाइव में पिछले दो यूथ ओलिंपिक्स में भारतीय टीम हिस्सा नहीं ले पाई थी. हॉकी फाइव में दोनों तरफ पांच - पांच खिलाड़ी होते हैं और इसमें मैदान भी छोटा होता है.
महिलाओं के सेमीफाइनल में भारत की ओर से मुमताज खान ने शुरुआती 52वें सेकंड में ही गोल कर चीन पर दबाव बना दिया था. पांचवें मिनट में ही मिडफील्डर रीत ने एक और गोल कर भारत की बढ़त को 2-0 कर दिया. 13वें मिनट में लालरेमसियामी ने गोल की भारत की बढ़त को 3-0 कर दिया. इस बीच चीन ने कई कोशिशें भी की, लेकिन भारतीय टीम ने उन कोशिशों को नाकाम कर दिया.
पुरुषों के सेमीफाइनल में तीसरे मिनट में राहुल कुमार ने गोल करके भारत को 1-0 की बढ़त दिलाई, लेकिन चौथे ही मिनट में मेजबान के कप्तान फाकुंडो ने गोल करके स्कोर बराबर कर दिया. हाफ टाइम तक दोनों टीमों के बीच कांटे की टक्कर रही और स्कोर 1-1 से बराबर रहा, लेकिन दूसरे हाफ में सुदीप चिरमाको के दो गोल ने मुकाबला भारत की झोली में डाल दिया. 12 और 18वें मिनट में सुदीप ने दो अहम गोल किए.