भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) ने शुक्रवार को पहलवानों के लिए अनुबंध प्रणाली की शुरुआत की, जिसमें स्टार पहलवान बजरंग पूनिया और विनेश फोगाट के साथ पूजा ढांडा को शीर्ष ग्रेड ए अनुबंध में शामिल किया गया. जबकि दो बार के ओलिंपिक मेडलिस्ट सुशील कुमार और रियो ओलिंपिक ब्रॉन्ज मेडलिस्ट साक्षी मलिक शीर्ष ग्रेड में जगह बनाने में असफल रहे. उम्मीद के मुताबिक कॉमनवेल्थ गेम्स और एशियन गोल्ड मेडलिस्ट बजरंग पूनियां और विनेश को 30 लाख रुपए के ग्रेड में शामिल किया गया. वहीं पूजा ने हाल में विश्व चैम्पियनशिप में पदक जीता था और वह ऐसा करने वाली चौथी भारतीय महिला बन गई थी.
खराब फॉर्म का हुआ नुकसान
ओलिंपिक मेडलिस्ट सुशील कुमार और साक्षी मलिक को खराब फॉर्म का नुकसान हुआ और उन्हें ग्रेड बी में शामिल किया गया. ग्रेड बी में एक साल में 20 लाख रुपए की वित्तीय मदद दी जाएगी. एक साल के बाद अनुबंधों की समीक्षा भी की जाएगी.
अनुबंध प्रणाली लागू करने वाली दूसरी संस्था बनी
इस अनुबंध प्रणाली की शुरुआत करने के साथ ही डब्ल्यूएफआई भारतीय ओलिंपिक संघ से मान्यता प्राप्त पहला राष्ट्रीय खेल महासंघ बन गया है. वहीं बीसीसीआई के बाद दूसरी खेल संस्था बन गई है. ग्रेड की समीक्षा के बाद पहलवाने की ग्रेड उपर नीचे हो सकती है. इस मौके पर डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष ब्रज भूषण शरण सिंह ने यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मौजूदगी में सीनियर नेशनल चैंपियनशिप का उद्घाटन किया.
इन्हें मिली सी ग्रेड
16 पहलवानों को सी और डी ग्रेड में शामिल किया गया है. इसमें से सात पहलवान सी ग्रेड में हैं, जिन्हें 10 लाख रुपए की मदद मिला करेगी. सी ग्रेड में संदीप तोमर, ग्रीको रोमन पहलवान साजन भानवाल, विनोद ओम प्रकाश, ऋतु फोगाट, सुमित मलिक, दीपक पूनिया और एशियन ब्रॉन्ज मेडलिस्ट दिव्या काकरान शामिल हैं.
ग्रेड डी में 9 पहलवान
डी ग्रेड में नौ पहलवानों को जगह दी गई है. जिन्हें पांच लाख रुपए की मदद मिला करेगी. डी ग्रेड में राहुल अवारे, नवीन सिहाग, उत्राक्ष काले, सचिन राठी, विजय, रवि कुमार, सिमरन, मानसी अहलावत और अंशु मलिक हैं. डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष ब्रज भूषण शरण सिंह ने कहा कि सुशील फिलहाल टूर्नामेंट में अधिक हिस्सा नहीं ले रहे, इसीलिए उन्हें इस ग्रेड में शामिल करना पड़ा. जबकि साक्षी का प्रदर्शन भी उतार चढ़ाव भरा रहा है.