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CWG 2018 : किसी तरह के दबाव में नहीं हैं गीता फोगाट को हराने वाली पूजा ढांडा

प्रो रेसलिंग लीग में शानदार प्रदर्शन के बाद माना जा रहा है पदक का दावेदार

FP Staff

नाम: पूजा ढांडा

उम्र: 24


खेल: कुश्ती

कैटेगरी: 57 किग्रा

पिछला कॉमनवेल्थ गेम्स प्रदर्शन : पहली बार भाग लेंगी

पूजा ढांडा के आदर्श और कोई नहीं भारतीय कुश्ती के पोस्टर बॉय ओलिपिंक में दो बार भारत को पदक दिलाने वाले पहलवान सुशील कुमार हैं. पूजा का मानना है कि एक इंसान के लिए सबसे बड़ी बात होती है कि उसका देश उस पर गर्व करे और यही इस खिलाड़ी का सपना भी है.

वह कहती हैं कि सुशील ने दो बार देश के लिए पदक जीता है. वह मेरी प्रेरणा हैं. मैं भी अपने देश के लिए कुछ ऐसा करना चाहती हूं कि मुझे हमेशा याद रखा जाए. पूजा को ऑस्ट्रेलिया के गोल्ड कोस्ट में होने वाले कॉमनवेल्थ गेम्स में कुश्ती में पदक की बड़ी दावेदार माना जा रहा है. इसका कारण उनका प्रो रेसलिंग लीग (पीडब्ल्यूएल) और फिर कॉमनवेल्थ गेम्स ट्रायल्स में शानदार प्रदर्शन है.

हाल ही में पीडब्ल्यूएल में ओलंपिक पदक विजेता अमेरिका की हेलेन लुइस, विश्व चैंपियनशिप में रजत पदक विजेता नाइजीरिया की ओडुयानो एडेकुरोय और ट्रायल्स में पूर्व कॉमनवेल्थ गेम्स स्वर्ण पदक विजेता दंगल गर्ल गीता फोगाट जैसी दिग्गज खिलाड़ियों को मात देकर सनसनी मचाने वाली हरियाणा की पूजा इन सफलताओं के बाद दबाव में नहीं हैं. बल्कि वह इसे सकारात्मक तरीके से ले रही हैं और अपने देश के लिए ना सिर्फ कॉमनवेल्थ गेम्स बल्कि ओलिंपिक में भी पदक जीतना चाहती हैं.

पूजा ने अभी तक अंतरराष्ट्रीय स्तर पर केवल एक पदक जीता है. वह 2010 में यूथ ओलिंपिक में रजत पदक जीतकर लाईं थीं. लेकिन गोल्ड कोस्ट में पूजा को स्वर्ण से कम कुछ मंजूर नहीं है और इसी कारण वह अपनी तैयारियों में कोई कमी नहीं छोड़ना चाहती हैं. दिग्गज पहलवानों के साथ अभ्यास करने, उनकी तकनीक को जानने और उनका सामना करने का अवसर मिलना अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं की तैयारी के लिए बहुत जरूरी है. ये तीनों चीजें पूजा के लिए पीडब्ल्यूएल से मुमकिन हो पाईं. अब तो बस उन्हें इंतजार है मुकाबले शुरू होने का.