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IND vs NZ 1st ODI at Napier: छोटे मैदान पर भारत को मिली 'विराट जीत'

भारत ने मेजबान न्यूजीलैंड को 8 विकेट के बड़े अंतर से हराया.

Kiran Singh

ऑस्ट्रेलिया के मैदान जीतने बड़े हैं, उसके पड़ोसी देश न्यूजीलैंड के मैदान उतने ही छोटे है. माना जा रहा था कि यहां बुधवार को जमकर रन बरसेंगे. बाउंड्री छोटी होने के कारण चौको छक्को की जमकर बरसात होगी. भारत और न्यूजीलैंड के बीच खेले गए पांच मैचों की सीरीज के पहले मैच में दोनों ओर से शतकधारी निकलेंगे, लेकिन जैसे ही मुकाबला शुरू हुआ. परिणाम ही कुछ और निकला. मुकाबला छोटे मैदान की तरह की छोटा हो गया. भारतीय गेंदबाजों ने मेजबान की टीम को 157 रन पर ही रोक दिया. जहां चौके छक्कों की बारिश आने की संभावना थी , वहां सिर्फ सिंगल्स की बौछारे ही देखने को मिली. ऐसा नहीं है कि यह बौछारे सिर्फ न्यूजीलैंड की पारी में ही दिखी, बल्कि भारत की पारी में भी ऐसा ही कुछ हुआ. लेकिन भारत के बल्लेबाजों ने मेजबान अटैक को संभाला और बड़ी आसानी से छोटे लक्ष्य तक पहुंचकर बड़ी जीत हासिल कर ली. एक तो लक्ष्य पहले ही छोटा था और इसके डकवर्थ लुइस ने और कटौती कर दी.


सूरज की रोशनी ने कारण खेल रुकने पर मैदान छोड़ते हुए विराट कोहली और शिखर धवन

दरअसल पिच की गलत दिशा के कारण भारतीय पारी में सूरज

की रोशनी बल्लेबाज की आंखों में सीधे आ रही थी, जिस कारण आधे घंटे का खेल रोक दिया गया और इसके बाद भारत को नया लक्ष्य मिला. जिसमें 49 ओवर में 156 रन बनाए थे. भारत ने 85 गेंद शेष रहते ही शिखर धवन (shikhar dhawan) की नाबाद 75 रन और विराट कोहली (virat kohli) की 45 रन की पारी के दम पर आसानी से हासिल कर लिया. 2009 के बाद न्यूजीलैंड में भारत की यह पहली जीत है.

जीत की दहलीज तक लेकर गए धवन

जीत के करीब तो भारतीय गेंदबाजों ने टीम को पहुंचा ही दिया था. उसके बाद आगे का जिम्मा बल्लेबाजों ने संभाला. रोहित शर्मा 11 के रूप में 41 रन पर भारत को पहला झटका लगने के बाद शिखर धवन 75 और विराट कोहली 45 के बीच बड़ी साझेदारी हुई. दोनों ने 91 रन की साझेदारी करके टीम को जीत तक पहुंचा दिया, लेकिन 132 रन पर कोहली खराब शॉट खेल बैठे और कैच आउट हो गए. इसके बाद धवन ने अंबाती रायुडू के साथ मिलकर टीम की जीत को सुनिश्चित की. हालांकि मेजबान गेंदबाजों ने भी भारतीय बल्लेबाजों को एक समस बाद बड़े शॉट खेलने नहीं दिया. इस बीच धवन सबसे तेज वनडे क्रिकेट में पांच हजार रन बनाने वाले दूसरे भारतीय खिलाड़ी भी बने. 16वें ओवर में बाउंड्री के बाद 29वें ओवर में रायुडू ने आते ही अगली बाउंड्री लगाई थी और रायुडू की उस बाउंड्री के बाद 34 ओवर तक कोई बाउंड्री नहीं लग पाई थी. 35वें ओवर की दूसरी गेंद पर रायुडू ने और बाउंड्री लगाई.

गेंदबाजों ने किया कमाल

मैन ऑफ द मैच मोहम्मद शमी ने 19 रन देकर तीन विकेट, युजवेंद्र चहल ने 43 रन देकर दो विकेट, कुलदीप यादव ने 39 पर चार और केदार जाधव ने 17 रन पर एक विकेट लिए. भारतीय गेंदबाज ने दूसरे ओवर में ही कीवी टीम पर लगाम कसना शुरू कर दिया था. दूसरे ओवर की पांचवीं गेंद पर ही मोहम्मद शमी ने मार्टिन गप्टिल को बोल्ड करके खाता खोला और इसके बाद चौथे ओवर में कोलिन मुनरो को बोल्ड करके मेजबान पर दवाब बना दिया था. हालांकि इस झटके के बाद मेजबान कप्तान केन विलिमयसन ने रॉस टेलर के साथ क्रीज पर पैर जमाने की कोशिश तो की थी और स्कोर 50 रन के पार तक भी पहुंचा दिया था, लेकिन टेलर अपने कप्तान का साथ ज्यादा देर तक नहीं दे पाए और चहल की गेंद पर उन्हें ही कैच थमा बैठे. इसके बाद 76 रन पर चहल ने टॉम लाथम को उन्हें अपनी ही गेंद पर कैच लपककर आउट किया.

संघर्ष के बीच कीवी कप्तान का अर्धशतक

मेजबान टीम संघर्ष कर रही थी. एक छोर पर विलियमसन तो जम गए थे, लेकिन दूसरे छोर पर उन्हें साथ नहीं मिल पा रहा था. विलियमसन ने हेनरी निकोल्स के साथ मिलकर पारी को आगे बढ़ाया. इस बीच उन्होंने 36वां वनडे अर्धशतक भी जड़ा. इस समय लग रहा था कि कीवी टीम 220 रन के उपर जा जाएगी, लेकिन 107 पर निकोल्स और 133 रन पर मिचेल सैंटनर के रूप में विकेट गिरा. विलियमसन अकेले रह गए. अब उनको पुछल्लों बल्लेबाजों का ही सहारा था,  लेकिन 146 रन पर विलियमसन कुलदीप यादव की गेंद पर विजय शंकर को कैच थमा बैठे और इस विकेट के बाद तो कुलदीप ने अगले 10 रनों में ही पूरी टीम को समेट दिया. एक ही ओवर में विलियमसन और ब्रेसवेल को पवेलियन भेज दिया. इसके बाद लॉकी फर्ग्यूसन को  148 रन पर और फिर ट्रेंट बोल्ट के रूप में 157 रन पर आखिरी विकेट लपका.