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भारत-साउथ अफ्रीका तीसरा टेस्ट, पहला दिन : भारतीय बल्लेबाजों ने दोहराई फिर वही कहानी, टीम 187 रन पर ढेर

कोहली और पुजारा ने लगाए अर्धशतक, पहले दिन का खेल खत्म होने तक साउथ अफ्रीका ने भी एक विकेट के नुकसान पर छह रन बनाए

FP Staff

पिछले तकरीबन डेढ़ साल में भारतीय टीम ने जिस स्थिति में दूसरी टीमों को पहुंचाया आज उसी स्थिति में वह खुद खड़ी हुई है. साउथ अफ्रीका के खिलाफ सीरीज गंवा बैठी विश्व की नंबर-एक टेस्ट टीम के सामने अब क्लीन स्वीप से बचकर अपना सम्मान बचाने की मुश्किल चुनौती थी. लेकिन जोहानसबर्ग के वांडर्स स्टेडियम में खिलाफ तीसरे और अंतिम टेस्ट मैच में अफ्रीकी तेज आक्रमण के सामने भारतीय बल्लेबाज फिर से बगलें झांकते हुए नजर आए और पहले दिन ही उसकी पूरी टीम 187 रन पर ढेर हो गई. इसके जवाब में दक्षिण अफ्रीका ने पहले दिन का खेल समाप्त होने तक एक विकेट पर छह रन बनाए हैं.

कप्तान विराट कोहली (54) और चेतेश्वर पुजारा (50) ने अपनी अपनी स्टाइल में अर्धशतक जमाए. इन दोनों के अलावा इस मैच में वापसी करने वाले भुवनेश्वर कुमार (30) ही दोहरे अंक में पहुंचे. इन तीनों ने मिलकर 134 रन बनाए, जबकि बाकी आठ बल्लेबाज 27 रन का योगदान ही दे सके. चौथा बड़ा स्कोर अतिरिक्त रन (26) का रहा.


भुवनेश्वर (1/3) ने गेंदबाजी में कमाल दिखाया तथा अपने दूसरे ओवर में ही एडेन मार्करम को विकेट के पीछे कैच कराकर भारत को शुरुआती सफलता दिलाई. स्टंप उखड़ने के समय डीन एल्गर चार रन पर खेल रहे थे जबकि नाइटवॉचमैन रबाडा को अभी अपना खाता खोलना है.

पिच में काफी घास है और यह तेज गेंदबाजों के अनुकूल है. ऐसे में कोहली का पहले बल्लेबाजी का फैसला चौंकाने वाला था, क्योंकि भारत केवल तेज गेंदबाजी आक्रमण के साथ मैदान पर उतरा है. यह 2012 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पर्थ टेस्ट मैच के बाद पहला अवसर है जबकि अंतिम एकादश में कोई स्पिनर नहीं है.

फिर नहीं मिली अच्छी शुरुआत

शीर्ष क्रम के बल्लेबाजों में लोकेश राहुल (00) और मुरली विजय (08 फिर से भारत को अच्छी शुरुआत देने में नाकाम रहे, जबकि सीरीज में पहली बार खेल रहे अजिंक्य रहाणे (09) जीवनदान का फायदा नहीं उठा पाए. अपने बल्लेबाजी कौशल के कारण चुने गए विकेटकीपर पार्थिव पटेल (02) और ऑलराउंडर हार्दिक पांड्या (00) ने फिर से निराश किया. भारत अगर 200 रन के करीब पहुंच पाया तो इसका श्रेय भुवनेश्वर को जाता है जिन्होंने केपटाउन में पहले टेस्ट में भी अपनी बल्लेबाजी से प्रभावित किया था. कैगिसो रबाडा (3/39) साउथ अफ्रीका के सबसे सफल गेंदबाज रहे. वर्नोन फिलेंडर, मोर्नी मोर्केल और एंडिल फेलुकवायो ने दो-दो, जबकि लुंगी एंगिडी ने एक विकेट लिया.

पुजारा और कोहली के बीच 84 रन की साझेदारी

भारतीय टीम अगर किसी समय अच्छी स्थिति में दिखी तो तब जब पुजारा और कोहली क्रीज पर थे. इन दोनों ने तीसरे विकेट के लिए 84 रन की साझेदारी की जिसमें अधिकतर योगदान कोहली का था. ये दोनों हालांकि अपने अर्धशतक पूरा करने के बाद क्रीज पर नहीं टिक पाए जिससे टीम बैकफुट पर चली गई. पुजारा ने पहले दो सत्र में क्रीज पर टिके रहने को तरजीह दी. उन्होंने 53 गेंद के बाद अपना खाता खोला तथा 179 गेदों का सामना करके आठ चौके लगाए. कोहली ने अपने सदाबहार अंदाज में बल्लेबाजी की 106 गेंद की अपनी पारी में नौ चौके जड़े.

कोहली का 16वां टेस्ट अर्धशतक

कोहली को दो जीवनदान भी मिले. इस बीच रबाडा के साथ उनकी रोचक जंग भी देखने को मिली. लंच के पहले घंटे में अगर भारत 50 रन बना पाया तो उसका श्रेय कोहली को ही जाता है. भारतीय कप्तान ने 101 गेंदों पर अपना 16वां टेस्ट अर्धशतक पूरा किया. इसके बाद हालांकि भाग्य ने उनका साथ नहीं दिया तथा 43वें ओवर में लुंगी एंगिडी की गेंद पर डिविलियर्स ने उनका कैच लपक लिया.

ज्यादा देर तक नहीं टिक पाए रहाणे

भारत ने 46वें ओवर में 100 रन का आंकड़ा पार किया. इसके बाद रहाणे भी ज्यादा देर तक नहीं टिक पाए. वर्नोन फिलेंडर की गेंद पर उन्हें कैच आउट दिया गया, लेकिन यह नोबॉल निकल गई. रहाणे को इसके बाद मोर्केल की गेंद पर पगबाधा आउट दे दिया गया. बल्लेबाज ने रिव्यू लिया. गेंद लेग साइड की तरफ जा रही थी और केवल स्टंप को स्पर्श कर रही थी, लेकिन अंपायर ने अपना फैसला नहीं बदला. उन्होंने नौ रन बनाए.

फेलुकवायो ने भंग की पुजारा की एकाग्रता

पुजारा ने तीसरे सत्र के शुरू में कुछ आकर्षक शॉट लगाए और 173 गेंदों पर अपना 17वां अर्धशतक पूरा किया. ऐसे में फेलुकवायो उनकी एकाग्रता भंग करने में सफल रहे. उनकी इनस्विंगर पुजारा के बल्ले को चूमकर विकेटकीपर क्विंटन डिकॉक के दस्तानों में समा गई. डिकॉक ने इससे पहले राहुल और विजय के कैच भी लिए थे. फिलेंडर की गेंद राहुल के बल्ले का अंदरूनी किनारा लेकर गई, जबकि विजय ने नौंवे ओवर में रबाडा की गेंद पर विकेट के पीछे कैच दिया.

12 रन पर गंवाए तीन विकेट 

भारत ने बीच में 12 गेंद के अंदर तीन बल्लेबाज गंवाए, जिनमें पुजारा के अलावा विकेटकीपर पार्थिव पटेल और ऑलराउंडर हार्दिक पांड्या (00) भी शामिल हैं. इस बीच कोई रन नहीं बना तथा स्कोर चार विकेट पर 144 रन से सात विकेट पर 144 रन हो गया. पांड्या फिर से गैरजिम्मेदाराना शॉट खेलकर पवेलियन लौटे.

(एजेंसी इनपुट के साथ)