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आखिर बीसीसीआई की किस बात से है फारुख इंजीनियर को शिकायत...

भारत के लिए 46 टेस्ट मैचो में 2611 रन बनाने वाले 80 साल के फारुख इंजीनियर इस वजह से हैं नाराज

FP Staff

एक वक्त में देश के सबसे काबिल विकेटकीपर माने जाने वाले पूर्व क्रिकेटर  फारूख इंजीनियर को इस बात का मलाल है कि बीसीसीआई ने अभी तक उन्हें प्रतिष्ठित सी के नायुडू लाइफ टाइम अचीवमेंट अवॉर्ड के काबिल नहीं समझा है. उन्होंने सार्वजनिक तौर पर इस अवॉर्ड के ना मिलने पर निराशा जताई है. 80 वर्षीय पूर्व क्रिकेटर ने एक कार्यक्रम में सार्वजनिक तौर पर अपनी हताशा व्यक्त की.

इंजीनियर ने इस मसले पर सुप्रीम कोर्ट की बनाई प्रशासकों की समिति यानी सीओए पर भी जोरदार निशाना साधा है. उन्होंने कहा, ‘सीओए या जो भी कहो, इसमें  से एक ने कहा कि फारूख को पहले ही सी के नायुडु (जीवनपर्यन्त उपलब्धि) पुरस्कार मिल चुका है. सच्चाई यह है कि मैंने दो साल पहले बेंगलुरू में एमएके पटौदी लेक्चर के दौरान यह पुरस्कार दिया था. पदमाकर शिवालकर और राजिंदर गोयल को पुरस्कार मिला था और मुझे उनके लिए खुशी है.’


उन्होंने कहा, ‘आज लाइफ टाइम अचीवमेंट अवॉर्ड दिया जाता है .... मैंने भी लगभग 50 टेस्ट मैच 50 रूपये प्रतिदिन की दर पर खेले हैं और मुझे इस पुरस्कार से वंचित रखा गया है जिससे दुख होता है.’

इंजीनियर ने कहा, ‘लोग कहते हैं कि मुझे यह पुरस्कार मिल चुका है. सूची देख लो. उसमें मेरा नाम नहीं मिलेगा.’

1975 में वेस्टइंडीज के खिलाफ हुए मुकाबले मे अपना आखिरी टेस्ट खेलने वाले इंजीनियर ने बीसीसीआई को आड़े हाथों लेते हुए कहा, ‘ मैंने देश के लिए बड़े गर्व के साथ क्रिकेट खेला. मुझे ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड में हुए मुकाबलों की वर्ल्ड इलेवन में भी  शामिल किया गया. मेरी बाद ही सुनील गावस्कर और सचिन तेंदुलकर को यह मौका मिल सका.’

अब देखना होगा कि फारुख इंजीनियर की इस शिकायत का बीसीसीआई पर क्या असर पड़ता है.

(With Agency Input)