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बीसीसीआई ने पांच मुद्दों को छोड़कर, लोढ़ा कमेटी की बाकी सिफारिशें स्वीकारीं

मुंबई में हुई एसजीएम में हुआ फैसला

FP Staff

बीसीसीआई में सुधार के लिए सुप्रीम कोर्ट की बनाई जस्टिस लोढ़ा कमेटी की सिफारिशों के लागू होने पर बात उलझती दिख रही है. बुधवार को मुबई में बोर्ड की स्पेशल जनरल मीटिंग में लोढ़ा कमेटी के पांच प्रस्तावों को छोड़कर बाकी सभी सिफारिशों को मंजूरी दे दी गई. लेकिन जिन पांच मसलों पर बोर्ड ने स्वीरकार नहीं किया है उन्हें लेकर अब मामला एक बार फिर से सुप्रीम कोर्ट में जा सकता है.

बुधवार की मीटिंग के बाद  बीसीसीआई के कार्यवाहक सचिव अमिताभ चौधरी ने कहा, ‘बीसीसीआई ने पांच मुद्दों को छोड़कर लोढ़ा समिति के सुधारवादी कदमों को स्वीकार कर लिया है।’ जिन सुधारवादी कदमों को लागू नहीं किया गया है उनमें एक राज्य-एक वोट, राष्ट्रीय चयन पैनल का आकार, शीर्ष परिषद का आकार और पदाधिकारियों की आयु और कार्यकाल की सीमा शामिल है.


सुप्रीम कोर्ट ने एक साल से भी अधिक समय पहले बीसीसीआई को जस्टिस लोढ़ा समिति की सिफारिशों को लागू करने का आदेश दिया था। इसी हफ्ते उच्चतम न्यायालय ने बीसीसीआई के पूर्व अधिकारियों एन श्रीनिवासन और निरंजन शाह को भी बोर्ड बैठक में हिस्सा लेने से प्रतिबंधित कर दिया था. इन दोनों की उम्र 70 बरस से अधिक है और लोढ़ा समिति की सिफारिशों के तहत दोनों बीसीसीआई के अयोग्य पदाधिकारी हैं.

इन सिफारिशों को लागू करवाने के लिए अदालत ने विनोद राय की अगुआई में प्रशासकों का एक पैनल बनाय है जिसके कंधों पर इन सुधारों को लागू करवाने की जिम्मेदारी है.