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अब्दुल क़वी देसनवी: जिनके सम्मान में गूगल डूडल आज उर्दू में लिखा दिख रहा है

मिर्ज़ा ग़ालिब और अल्लामा इक़बाल पर रिसर्च करने वाले देसनवी के शिष्यों मेंं जावेद अख्तर भी हैं

FP Staff

अगर आपने बुधवार सुबह का गूगल डूडल देखा हो तो उसमें गूगल उर्दू स्क्रिप्ट की तरह से लिखा दिखेगा. इसके साथ ही काली अचकन पहने एक शख्स का स्केच भी होगा. गूगल ने 1 नवंबर का अपना डूडल उर्दू लेखक और आलोचक अब्दुल क़वी देसनवी को डेडिकेट किया है.

मशहूर शायर कैफ़ी आज़मी के साथ अब्दुल क़वी देसनवी


बिहार के देसना गांव में पैदा हुए देसनवी ने उर्दू में कई किताबें लिखी हैं. इनमें मौलाना आज़ाद, मिर्जा ग़ालिब और अल्लामा इक़बाल के ऊपर लिखी गई तलाश-ए-आज़ाद, मोतला-ए-खुतूत ग़ालिब और सात तहरीरें सबसे प्रसिद्ध हैं. भोपाल के सफिया कॉलेज में उर्दू विभाग के हेड के तौर पर रिटायर होने वाले देसनवी के शिष्यों में कई बड़े नाम शामिल रहे हैं. इनमें जावेद अख्तर और इकबाल मसूद जैसे उम्दा शायर भी हैं.

उर्दू साहित्य के बड़े नामों पर अपने उच्च स्तरीय शोध के लिए पहचाने जानेवाले देसनवी साहब ने अपनी पढ़ाई मुंबई के सेंट जेवियर्स कॉलेज से की थी. वो भोपाल की मशहूर बर्कतउल्लाह यूनिवर्सिटी के डीन भी रहे थे.