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बीजेपी कानून नहीं धर्म के आधार पर शासन चला रही है- ओवैसी

ऐसी खबरें आ रही हैं कि यूपी की योगी सरकार 2013 के मुजफ्फरनगर के दंगों के जुड़े 131 केसों को वापस लेने की तैयारी कर रही है

FP Staff

एआईएमआईएम के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि यूपी की बीजेपी सरकार संविधान और आईपीसी का मजाक बना रही है. औवेसी यूपी सरकार के इस फैसले के खिलाफ बोलते हुए यह बात कही जिसके तहत योगी सरकार ने 131 दंगों के केसों को वापस लेने की प्रक्रिया शुरू की है. औवेसी ने कहा कि सरकार इन लोगों के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए क्योंकि इन लोगों की वजह से मुजफ्फरनगर में लगभग 50 हजार लोग विस्थापित हो गए. बीजेपी कानून के मुताबिक नहीं बल्कि धर्म के कानून के आधार पर शासन चला रही है.

इससे पहले ऐसी खबरें आ रही हैं कि यूपी की योगी सरकार 2013 के मुजफ्फरनगर के दंगों के जुड़े 131 केसों को वापस लेने की तैयारी कर रही है. विपक्ष के विरोध के बीच बीजेपी का कहना है कि वो सिर्फ झूठे मुकदमों को वापस लेने ले रही है. इस दंगे में 62 लोगों की जान गई थी और हजारों लोगों को अपने घर छोड़ने पड़े थे. विपक्ष का कहना है कि सरकार द्वारा मुकदमों को वापस लेना दंगाईयों को आम माफी देने जैसा है. कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल ने कहा कि सरकार हत्यारों को बचा रही है न कि हिंसा से पीड़ित लोगों को.

इंडियन एक्सप्रेस में छपी खबर के मुताबिक दस्तावेजों की जांच हो रही है, जिससे यह लग रहा है 131 केसों को जिनमें कई गंभीर अपराधों से भी जुड़े हैं को वापस लिया जा सकता है. इनमें से कई ऐसे केस हैं जिनमें न्यूनतम 7 साल की सजा का प्रावधान है. मुजफ्फरनगर के दंगों के सिलसिले में दर्ज मुकदमों में 13 केसों में आईपीसी की धारा 302 के तहत हत्या, 11 केसों में आईपीसी की धारा 307 के तहत हत्या का प्रयास, 85 केसों में आईपीसी की धारा 436 के तहत आगजनी और विस्फोट, 55 केसों में आईपीसी की धारा 395 के तहत डकैती और दो केसों में आईपीसी की धारा 364 के तहत मुकदमें दर्ज हैं. इस रिपोर्ट के अनुसार 16 मुकदमें आईपीसी की धारा 153A के तहत धार्मिक आधार पर नफरत फैलाने और दो केसों में आईपीसी की धारा 295A के तहत किसी धर्म का अपमान और धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने का भी मामला दर्ज है.

इससे पहले जनवरी में खबर आई थी यूपी की योगी सरकार बीजेपी के नेताओं के ऊपर मुजफ्फरनगर दंगे में दर्ज मुकदमों को वापस लेने की तैयारी कर रही है.