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खुद पीएम मोदी 'तीन तलाक' का राजनीतिकरण कर रहे हैं: विपक्ष

विपक्ष का आरोप है कि- तीन तलाक के मुद्दे पर बीजेपी को नया वोट बैंक बनाने का प्रयास नहीं करना चाहिए

Bhasha

विपक्ष ने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चुनावी फायदे के लिए ‘तीन तलाक’ के मुद्दे का राजनीतिकरण कर रहे हैं.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार सुबह मुस्लिम समुदाय से यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया कि ‘तीन तलाक’ के मुद्दे का राजनीतिकरण नहीं होना चाहिए . उन्होंने उम्मीद जताई कि समुदाय के बुद्धिजीवी इस परिपाटी से लड़ने के लिए आगे आएंगे.


मोदी के बयान पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कांग्रेस के वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद ने शनिवार को कहा कि कोई अन्य राजनीतिक दल नहीं, सिर्फ बीजेपी और इसका वैचारिक सलाहकार आरएसएस ही मुद्दे का राजनीतिकरण कर रहे हैं.

मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड की फेसबुक वाल से

राज्यसभा में नेता विपक्ष आजाद ने कहा कि कोई भी मुस्लिम घूमते-फिरते ‘तीन तलाक’ में विश्वास नहीं करता है. इस परिपाटी को पवित्र कुरान के अनुसार माना जाता है जिसमें कुछ नियम और समय सीमा तय की गई है.

बीजेपी को तीन तलाक में पड़ने की क्या जरूरत है?

गुलाम नबी आजाद ने पीएम मोदी पर निशाना साधते हुए कहा ‘जब समाज पहले से ही तीन तलाक के मुद्दे पर चर्चा कर रहा है और अदालत इसे देख रही है तो बीजेपी क्यों अनावश्यक रूप से मुस्लिम महिलाओं और उनके पतियों के बीच में आ रही है. बीजेपी को नया वोट बैंक बनाने का प्रयास नहीं करना चाहिए.’

लोकसभा में कांग्रेस के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि मोदी कर्नाटक विधानसभा के अगले साल होने वाले चुनाव को ध्यान में रखते हुए इस तरह के मुद्दों पर बोल रहे हैं.

मुस्लिम महिलाओं के तीन तलाक के मुद्दे पर देश भर में राजनीतिक बहस छिड़ गई है (फोटो: पीटीआई)

समाजवादी पार्टी के नेता मोहम्मद आजम खान ने मोदी की टिप्पणी की आलोचना करते हुए कहा कि 'प्रधानमंत्री को मुस्लिम महिलाओं की दूसरी समस्याओं पर भी बोलना चाहिए.'