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मुलायम सिंह यादव: पीएम बनने का सपना भले ही अधूरा रहा, पर सियासी दांव में सभी को दी मात

समाजवादी पार्टी के संस्थापक और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव का आज यानी 22 नवंबर को 80वां जन्मदिन है

FP Staff

समाजवादी पार्टी के संस्थापक और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव का आज यानी 22 नवंबर को 80वां जन्मदिन है. 22 नवंबर 1939 को एक साधारण से परिवार में उनका जन्म हुआ. उन्होंने अपने शैक्षणिक जीवन में तीन डिग्री (B.A, B.T और राजनीति शास्त्र में M.A) हासिल की. उनकी पूरी पढ़ाई केके कॉलेज इटावा, एक.के कॉलेज शिकोहाबाद और बीआर कॉलेज आगरा यूनिवर्सिटी से पूरी हुई.

तीन बार उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री रह चुके मुलायम ने दो शादियां की. मालती देवी से शादी के बाद साल 1973 में मुलायम सिंह के घर उनके इकलौते बेटे अखिलेश यादव ने जन्म लिया. मालती देवी का 2003 में निधन हो गया था. मुलायम ने दूसरी शादी साधना गुप्ता से की थी. 1988 में मुलायम के दूसरे बेटे प्रतीक यादव ने जन्म लिया.


बेमन से ही सही, पिता के सामने अखिलेश ने हार मानी

राजनीति में कूदने के लिए मुलायम सिंह यादव को सबसे ज्यादा राम मनोहर लोहिया ने प्रेरित किया. मुलायम का राजनीतिक सफर बेहद लंबा रहा है. मुलायम ने 1960 में राजनीति में कदम रखा और 1967 में पहली बार वो विधानसभा चुनाव जीत विधायक बने. समाजवादी नेता राममनोहर लोहिया के संपर्क में आने के बाद 1967 में उन्होंने संयुक्त सोशलिस्ट पार्टी के टिकट पर जसवंतनगर विधानसभा क्षेत्र से चुनाव में जीत हासिल की थी. साथ ही 1975 में आपातकाल के दौरान मुलायम को जेल भी जाना पड़ा था.

उनका प्रधानमंत्री बनने का सपना भले ही अभी भी अधूरा हो पर उन्होंने सियासी दांव में सभी को मात दी है. 1977 में वो उत्तर प्रदेश में पहली बार मंत्री बने, कॉ-ऑपरेटिव और पशुपालन विभाग संभाला. इसके बाद 1980 में उन्होंने लोकदल का अध्यक्ष पद संभाला. यही नहीं उन्होंने 1985-87 में उत्तर प्रदेश में जनता दल का अध्यक्ष पद भी संभाला. 1989 में वो पहली बार उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री बने और 1992 में उन्होंने समाजवादी पार्टी की स्थापना की. 1993-95 में वो दूसरी बार यूपी के मुख्यमंत्री बने और 1996 में मैनपुरी से 11वीं लोकसभा के लिए सांसद चुने गए और केंद्र सरकार में रक्षा मंत्री का पद संभाला. 2014 के लोकसभा चुनाव में मुलायम ने आजमगढ़ से जीत हासिल की और छठी बार सांसद बने.