कश्मीर में स्थिति नियंत्रण से बाहर हो गई है और सरकार इसको नियंत्रित करने में विफल रही है. यह बात जेडीयू के वरिष्ठ नेता शरद यादव ने कही जो विपक्षी दलों के समर्थन से कश्मीर में सम्मेलन आयोजित करने पर काम कर रहे हैं.
यादव ने कांग्रेस और वामपंथी दलों के नेताओं से मुलाकात की. इसके अलावा उन्होंने बीजेपी के यशवंत सिन्हा से भी भेंट की जो गैर सरकारी प्रतिनिधिमंडल का हिस्सा थे जिसने कश्मीर का दौरा किया था. वहां की स्थिति पर राष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित करने के प्रयास के तहत उन्होंने यह मुलाकात की.
उन्होंने एक बयान में कहा, ‘घाटी की स्थिति काफी गंभीर हो गई है और पिछले तीन वषरें में हाथ से निकल गई है. वहां शांति लाना अब काफी चुनौतीपूर्ण है. यह आतंकवाद की चपेट में है जो पिछले 15 वर्षों में नहीं दिखा. सरकार इसको नियंत्रित नहीं कर पा रही है.’
देश के कुछ हिस्सों में जातीय हमले हुए हैं
शरद यादव ने कथित गोरक्षकों द्वारा हिंसा करने के मामलों का उदाहरण दिया और आरोप लगाया कि देश के कुछ हिस्से में जातीय हमले हुए हैं और बीजेपी से जुड़े संगठन इन ‘‘निराशाजनक’’ घटनाओं में शामिल रहे हैं.
राज्यसभा के सदस्य ने 2014 में सत्ता में आने से पहले बीजेपी द्वारा जनता से किए गए ‘42 बड़े वादों’ को पूरा नहीं करने के लिए भी नरेंद्र मोदी सरकार को निशाना बनाया.