पहले चरण के मतदान में जिन बड़े नेताओं की साख दांव पर लगी है उनमें गृहमंत्री राजनाथ सिंह के बेटे पंकज सिंह, आरएलडी अध्यक्ष अजीत सिंह, केंद्रीय मंत्री संजीव बलियान, संगीत सोम, नरेश टिकैत और हुकुम सिंह गुर्जर शामिल हैं.
संगीत सोम
सरधना से बीजेपी के विधायक संगीत सोम मुजफ्फरनगर दंगों में खुलेआम प्रशासन को चुनौती देकर चर्चा में आए थे. बीफ विरोध का मामला उठाने वाली बीजेपी को उस समय आलोचना का भी सामना करना पड़ा था जब बिहार चुनाव के समय सोम पर स्लॉटर हाउस चलाने का भी आरोप लगा था. जाट वोटों पर पकड़ के चलते मोदी ने उन्हें भी अपनी रैली में सम्मानित किया था.
सुरेश राणा
2012 के चुनाव में सुरेश राणा ने 289 वोटों के अंतर से चुनाव जाती था. उनको पश्चिमी यूपी का कद्दावर बीजेपी नेता माना जाता है. मुजफ्फरनगर दंगों के बाद उनका नाम तेजी से उभरकर सामने आया. इसके पहले हुई मोदी की रैली में उनका सम्मान किया जा चुका है. हाल ही में उन पर चुनावी भाषण में हेट स्पीच देने की वजह से मामला भी दर्ज हुआ है.
अतुल प्रधान
सीएम अखिलेश यादव के करीबी अतुल प्रधान की जाट वोटों पर अच्छी पकड़ मानी जाती है. अतुल को शिवपाल यादव की लिस्ट में टिकट नहीं दिया गया था लेकिन जब अखिलेश यादव ने लिस्ट जारी की तो अपने इस खास को जगह दी. अतुल जब छात्र राजनीति में थे, तब उनके ऊपर 20 से ज्यादा केस दर्ज थे
गुड्डू पंडित
भगवान शर्मा उर्फ गुड्डू पंडित में बुलंदशहर में बाहुबली के नाम से मशहूर हैं. गुड्डू पंडित चुनाव भले ही 2012 में एसपी के टिकट पर जीते हों लेकिन जून में हुए राज्यसभा चुनाव में पंडित ने सपा से पाला बदलकर बीजेपी को वोट किया था. इस चुनाव में वो रालोद के टिकट पर ताल ठोंक रहे हैं.
लक्ष्मीकांत वाजपेयी
केशव प्रसाद मौर्य के पहले लक्ष्मीकांत वाजपेयी यूपी बीजेपी के अध्यक्ष थे. अपनी सादगी के कारण लक्ष्मीकांत चर्चा में रहते हैं. एक विधायक होने के बावजूद भी वे स्कूटर से सफर करते हैं. उनके विधानसभा क्षेत्र में उन्हें पसंद किए जाने का एक कारण उनका सादगीपसंद होना भी है.
शाहिद मंजूर
शाहिद मंजूर यूपी की वर्तमान समाजवादी सरकार में कैबिनेट मिनिस्टर हैं. ऐसा कहा जाता है कि उनकी आज़म ख़ान से नहीं बनती है लेकिन पश्चिम यूपी में मजबूत मुस्लिम चेहरा होने के कारण उनकी पार्टी में अच्छी पैठ है.
रामवीर उपाध्याय
रामवीर उपाध्याय बीएसपी के सबसे ताकतवर नेताओं में शुमार किए जाते हैं. पिछली बीएसपी सरकार में वे मंत्री भी रह चुके हैं. रामवीर उपाध्याय का पूरा परिवार ही राजनीति में हैं.
प्रदीप माथुर
प्रदीप माथुर ऐसे कांग्रेसी नेता हैं जिनके बारे में माना जाता है कि जाट वोट बैंक पर उनकी अच्छी-खासी पकड़ है. वे बीजेपी को कड़ी टक्कर देते हैं.