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पिता को डैड कहा जाना 'अजीब-सी विकृति': शिवराज

शिवराज ने अपने बचपन का किस्सा सुनाते हुए कहा, 'मेरे एक मित्र के पिताजी का स्वर्गवास हो गया था. मित्र अंग्रेजी प्रेमी थे. मित्र ने मुझसे कहा कि उनके पिता डेड हो गए.'

Bhasha

देश में पिता को 'डैड' कहे जाने को अंग्रेजी के मोह से जुड़ी अजीब-सी विकृति करार देते हुए मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शुक्रवार को इस चलन की निंदा की.

मुख्यमंत्री ने यहां हजारों स्कूली बच्चों के एक साथ राष्ट्रगीत 'वंदे मातरम' गाने के कार्यक्रम में कहा, 'आजकल माता-पिता की जगह मम्मी-पापा का चलन कुछ ज्यादा हो गया है. अंग्रेजी के मोह में हम कई बार पिता को डैड भी कह देते हैं.'


उन्होंने अपने बचपन का किस्सा सुनाते हुए कहा, 'मेरे एक मित्र के पिताजी का स्वर्गवास हो गया था. मित्र अंग्रेजी प्रेमी थे. मित्र ने मुझसे कहा कि उनके पिता डेड हो गए.'

मुख्यमंत्री ने पिता को 'डैड' कहे जाने के चलन के संदर्भ में कहा, 'यह अजीब-सी विकृति हमारी सोच में आ गई है, लेकिन हमारे लिए माता-पिता पूजनीय हैं.' वंदे मातरम के सामूहिक गान के कार्यक्रम का आयोजन स्थानीय संगठन सांस्कृतिक एवं नैतिक प्रशिक्षण संस्थान ने किया था.

कार्यक्रम के बाद मीडिया से बातचीत में शिवराज ने चित्तौड़गढ़ की रानी पद्मिनी को एक बार फिर 'राष्ट्रमाता' के रूप में संबोधित किया और कहा कि देश के स्वाभिमान की रक्षा के लिए अपना जीवन अर्पित करने वाले महापुरुषों का हमेशा सम्मान किया जाना चाहिए.

हिंदू महासभा के कार्यकर्ताओं द्वारा ग्वालियर में अपने कार्यालय में नाथूराम गोड़से की आवक्ष प्रतिमा स्थापित किए जाने के सवाल पर मुख्यमंत्री ने संक्षिप्त जवाब में कहा कि महात्मा गांधी के हत्यारे की मूर्ति को प्रशासन पहले ही हटा चुका है. उन्होंने कहा, 'इस मामले में कार्रवाई हो गयी है.'