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राजस्थान: गौरक्षा के नाम पर पुलिस कर रही है 'जबरन वसूली'

राजस्थान के अलवर में गौ-तस्करों द्वारा बढ़ रहे अपराध को कम करने के लिए गौरक्षा पुलिस चौकी बनाई थी, जो अब सिर्फ जबरन वसूली का अड्डा बनकर रह गई है

FP Staff

राजस्थान के अलवर में गौ रक्षा के लिए अब पुलिस भी मुस्तैद हो गई है. इसके लिए ना सिर्फ दो बैरक या एक गाड़ी लेकर गाय की रक्षा कर रही है, बल्कि इसके लिए एक गुलाबी रंग की बिल्डिंग वाली 'गौ रक्षा चौकी' भी बनाई गई है. यह चौकी अलवर 'नटनी का बारा' इलाके में स्थित है.

टाइम्स ऑफ इंडिया के मुताबिक इस जिले में गाय के खिलाफ बढ़ते अपराध को देखते हुए पुलिस ने गौरक्षा चौकी बनाने का फैसला किया है. पिछले दिनों पुलिस और गौ-तस्करों के बीच झड़प भी हुई थी.


गृह मंत्री गुलाब चंद कटारिया ने गाय की सुरक्षा के लिए पुलिस की इस कोशिश को प्रमुख उपलब्धियों में से एक माना था.

हालांकि, इन चेक पोस्ट को सरकार एक उपलब्धि के तौर पर गिनवा रही है, लेकिन कर्मचारियों और संसाधनों की कमी के कारण काफी हद तक यह पहल समाप्त हो गई है.

पुलिस ने छह तरह की चेक-पोस्टों को शहर के एंट्री और एग्जिट मार्ग पर स्थापित किया था. जिससे वाहनों की पूरी जांच की जा सके.

टाइम्स ऑफ इंडिया के मुताबिक निवासियों का आरोप है कि उनमें से कई अब अनौपचारिक 'जबरन वसूली के अड्डे' हैं. पुलिस रिश्वत लेकर ऐसे सभी वाहनों की एंट्री शहर में करवा देती है, चाहे उससे गौ-तस्करी ही हो रही हो.

हालांकि इन चेक पोस्टों में भी पुलिस स्टाफ की कमी झेल रही है. जब टाइम्स ऑफ इंडिया ने पुलिस वालों से बात की तो पता चला इन चेक पोस्टों पर 4-5 पुलिस के जवान तैनात रहते हैं, लेकिन जब देखा गया तो सिर्फ 1-2 पुलिस वाले ही मौके पर मिले. इसके अलावा पुलिस सहायता के लिए स्थानीय गौ-रक्षकों की मदद भी लेती है.