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नोएडा: पार्क में नमाज पढ़ने से रोकने वाले नोटिस पर DM की सफाई- कंपनियां इसके लिए जिम्मेदार नहीं मानी जाएंगी

नमाज पर आए नोटिस का विरोध हो रहा था जिसके बाद अब जिला प्रशासन ने सफाई दी है

FP Staff

नोएडा में अगर कर्मचारी यहां के पार्कों और खुली जगहों पर नमाज पढ़ते हैं तो इसकी जिम्मेदारी कंपनियों की नहीं होगी. नोएडा जिला प्रशासन ने इस बारे में जानकारी दी है. इसके पहले नोएडा पुलिस ने नोटिस जारी करके कहा था कि अगर यहां के पार्कों और खुली जगहों पर कंपनियों के कर्मचारी नमाज पढ़ते हैं तो इसकी जिम्मेदारी कंपनियों की होगी. नोएडा पुलिस के इस नोटिस का विरोध हो रहा था, जिसके बाद अब जिला प्रशासन ने सफाई दी है.

न्यूज़ 18 के मुताबिक नोएडा के डीएम बीएन सिंह ने कहा है कि कंपनियां और कारोबारी हाउसेज की अपने कर्मचारियों के धार्मिक रीति रिवाज और उनके प्रार्थना करने के तौर तरीकों की जिम्मेदार नहीं मानी जा सकती. उन्होंने कहा है कि वो कंपनियों से इस बारे में बात करेंगे और इस बारे में जो गलतफहमी पैदा हुई है, उसे साफ किया जाएगा.


नोएडा के पुलिस चीफ अजय शर्मा ने मंगलवार तक ये कह रहे थे कि जो लोग बिना परमिशन के एक जगह पर इकट्ठा हो जाते हैं, उनकी वजह से ये जरूरी कदम उठाया जा रहा है. उन्होंने कहा था कि पुलिस का नोटिस किसी धर्म विशेष के लिए नहीं है, ये सभी धर्मों को मानने वाले पर लागू होता है.

पुलिस ने कई कंपनियों को नोटिस जारी कर कहा था कि कंपनियां अपने कर्मचारियों को खुले इलाकों में नमाज पढ़ने से रोकें. अगर कर्मचारी नियमों का उल्लंघन करते हुए खुले इलाकों में नमाज पढ़ते हुए पाए गए तो इसकी जिम्मेदारी कंपनियों की होगी.

नोटिस में कहा गया था कि प्रशासन सेक्टर-58 के अथॉरिटी पार्क में शुक्रवार को नमाज समेत किसी भी धार्मिक गतिविधि करने की इजाजत नहीं देता है. देखा जा रहा है कि आपकी कंपनी के कर्मचारी पार्क में नमाज पढ़ते हैं. क्षेत्र के थाना प्रभारी ने नमाज नहीं पढ़ने के निर्देश दिए हैं. इस संबंध में सिटी मजिस्ट्रेट की तरफ से भी कोई अनुमति नहीं दी गई है. अगर कोई कर्मचारी पार्क में नमाज पढ़ता है और कंपनी ने उसे आदेश की जानकारी नहीं दी है तो कंपनी को जिम्मेदार ठहराया जाएगा.

पुलिस का कहना था कि इस इलाके में पिछले कुछ हफ्तों से शुक्रवार को पार्क में नमाज पढ़ने वालों की संख्या काफी तेजी से बढ़ी है. कुछ मीडिया रिपोर्ट्स के हवाले से कहा गया था कि यहां पहले केवल 10-15 लोग ही नमाज पढ़ते थे, लेकिन दो हफ्ते पहले इस पार्क में करीब 500-600 लोगों ने नमाज पढ़ी. कई लोग इस चीज को लेकर आपत्ति भी जता चुके हैं, जिसके बाद ये निर्देश जारी किए गए. अब विवाद बढ़ता देखकर डीएम ने मामले पर सफाई दी है.