भारतीय रेलवे ने मंगलवार को टिकटों की ऑनलाइन बुकिंग पर अब तक लगने वाले सेवा कर को हटाने की घोषणा की है. यानी आईआरसीटीसी से टिकट खरीदने पर अब सर्विस टैक्स नहीं लगेगा. वैसे यह छूट केवल नोटबंदी को ध्यान में रखकर दी गई है और इस साल के अंत तक चलेगी.
रेलवे के अधिकारियों ने बताया कि 23 नवंबर से 31 दिसंबर (नोटबंदी के फैसले के बाद निर्धारित बैंक लेनदेन प्रतिबंध की समयसीमा) के बीच टिकटों की गैर-नकदी बुकिंग को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से यह फैसला लिया गया.
रेलवे के प्रवक्ता अनिल कुमार सक्सेना ने बताया, 'अब रेलवे से सफर करने वाले लोगों को 23 नवंबर से 31 दिसंबर के बीच आईआरसीटीसी के जरिए टिकटों की ऑनलाइन बुकिंग करने पर सेवा कर नहीं देना पड़ेगा.'
उन्होंने बताया कि रेलवे के वरिष्ठ अधिकारियों और आईआरसीटीसी के अधिकारियों के बीच मंगलवार को हुई बैठक के दौरान गैर-नकदी लेनदेन को बढ़ावा देने के उद्देश्य से यह फैसला लिया गया.
रेलवे आईआरसीटीसी के जरिए ऑनलाइन बुकिंग पर स्लीपर श्रेणी के लिए 20 रुपये और वातानुकूलित श्रेणी के लिए 40 रुपये सेवा कर लेती थी.
सरकार द्वारा 8 नवंबर को काले धन पर लगाम लगाने के उद्देश्य से 500 और 1,000 रुपये के पुराने नोटों को अवैध घोषित करने के बाद से यात्रियों को बुकिंग खिड़की से टिकट खरीदने में नकदी की समस्या का सामना करना पड़ रहा है.
सरकार ने हालांकि यात्रियों की सुविधा के लिए रेलवे बुकिंग खिड़की से टिकट खरीदने और रेलवे द्वारा मान्यता प्राप्त रेस्तरां से खाद्य सामग्री खरीदने पर 24 नवंबर तक पुराने अमान्य नोट स्वीकार किए जाने की छूट भी दी है.
(आईएएनएस इनपुट के साथ)
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