नए सेना प्रमुख बिपिन रावत ने पाकिस्तान को कड़ी चेतावनी दी है. रावत ने कहा है कि भारत और इसकी सेना सीमा पर शांति और अमन चाहती है. लेकिन अगर हमें उकसाया गया तो अपनी पूरी ताकत से उसे मुंहतोड़ जबाव देने से नहीं चुकेंगे.
रविवार को दिल्ली में गार्ड ऑफ ऑनर लेने के बाद मीडिया से बात करत हुए सेना प्रमुख ने साफ किया कि भारतीय सेना शांति और अमन के लिए काम करती है. भारत अपने पड़ोसी मुल्कों से अमन चाहता है लेकिन इसे उसकी कमजोरी न समझा जाए.
अंग्रेजी अखबार इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक वरीयता विवाद पर भी सेनाध्यक्ष ने विराम लगाने की कोशिश की. जनरल रावत ने कहा कि उन्हें सेनाध्यक्ष बनाना सरकार का फैसला है और वरीयता क्रम में बड़े रहे दोनों ही ऑफिसर उनसे कंधे से कंधा मिलाकर काम कर चुके है. और आगे भी सेना के हित में काम करते रहेंगे.
हिंदुस्तान टाइम्स ने नए सेना प्रमुख के हवाले से बताया है कि सेना की दूरदर्शिता और प्राथमिकताओं में कोई बदलाव नही होगा. इंफ्रेट्री से आए जनरल रावत ने कहा कि उनकी नजर में सेना का हर जवान बराबर है. चाहे वो किसी भी पलटन का हो.
इंडिया टुडे वेबसाइट ने बताया कि जनरल रावत नार्थ-ईस्ट और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर पर सर्जिकल स्ट्राइक को अंजाम देने में मुख्य भूमिका निभा चुके हैं. जनरल रावत के सामने सरहद पार चुनौतियां कम होने के बजाए लगातार बढ़ रही है. बावजूद इसके नए सेना प्रमुख से काफी उम्मीदें है. क्योंकि उन्हें जम्मू कश्मीर से लेकर चीन सीमा में काम करने का काफी तर्जुबा हैं.
द हिंदू अखबार ने भी रावत के कार्यकाल का जिक्र करते हुए बताया कि वो 27वें सेना प्रमुख हैं. रावत को सेना मुख्यालय से लेकर पूर्वोत्तर, कश्मीर और संयुक्त राष्ट्र में काम करने का अनुभव है. रावत को जनरल दलबीर सिंह ने सेना प्रमुख की कमान सौंपी है.