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सरकार ने नेट न्यूट्रलिटी पर जताई सहमती, नई टेलीकॉम पॉलिसी मंजूर

टेलीकॉम सेक्टर रेगुलेटर ट्राई ने इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर के बीच किसी तरह के समझौते पर पाबंदी लगाने की सिफारिश की है ताकि इंटरनेट पर किसी कंटेंट को लेकर भेदभाव ना हो सके

PTI

दूरसंचार आयोग ने बुधवार को नेट न्यूट्रलिटी (नेट निरपेक्षता) के नियम पर सहमति जता दी. इस नियम के तहत टेलीकॉम कंपनी अपने किसी यूजर के साथ भेदभाव नहीं कर सकती है.

हालांकि रिमोट सर्जरी और ऑटोमैटिक कार जैसी कुछ अहम सेवाओं को नेट न्यूट्रलिटी के दायरे से बाहर रखा गया है. टेलीकॉम सेक्रेटरी अरुणा सुंदराजन ने कहा, 'दूरसंचार आयोग ने ट्राई की सिफारिशों के आधार पर नेट न्यूट्रलिटी को मंजूरी दे दी. ऐसी संभावना है कि कुछ अहम सेवाओं को इसके दायरे से बाहर रखा जा सकता है.’


टेलीकॉम सेक्टर रेगुलेटर ट्राई ने इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर के बीच किसी तरह के समझौते पर पाबंदी लगाने की सिफारिश की है ताकि इंटरनेट पर किसी कंटेंट को लेकर भेदभाव ना हो सके. उन्होंने कहा कि मंत्रिमंडल की मंजूरी के लिए आयोग ने नई दूरसंचार नीति-नेशनल डिजिटल कम्युनिकेशंस पालिसी 2018-को भी मंजूरी दे दी है.

अरूणा ने कहा, ‘बैठक में मौजूद सभी लोगों ने आज कहा कि डिजिटल बुनियादी ढांचा आज भौतिक बुनियादी ढांचे के मुकाबले ज्यादा महत्वपूर्ण है. नीति आयोग के सीईओ (अमिताभ कांत) ने कहा कि जिलों के लिये हमें निश्चित रूप से डिजिटल बुनियादी ढांचा सुनिश्चित करना चाहिए. इसीलिए देश में कारोबार सुगमता और उपयुक्त नीति माहौल जरूरी है.’

बैठक में शामिल एक अधिकारी ने कहा कि दूरसंचार आयोग ने दिसंबर 2018 तक सभी ग्राम पंचायतों में 12.5 लाख वाईफाई हॉट स्पॉट लगाने को मंजूरी भी दी है. इसके लिए परियोजना को व्यवहारिक बनाने को लेकर करीब 6,000 करोड़ रुपये का वित्त पोषण किया जाएगा.