दिवाली के बाद हर साल की तरह दिल्ली गैस चैंबर बनकर तैयार है.
दिल्ली पर केंद्र और राज्य सरकार दोनों अपना मालिकाना हक जताने से पीछे नहीं हटते, लेकिन बात जब सुविधाएं देने या प्रदूषण जैसी समस्याओं से निपटने की आती है, तो प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री, दोनों हाथ खड़े कर देते हैं.
दिल्ली वालों ने बड़े अरमानों के साथ केजरीवाल को मुख्यमंत्री बनाया था.
लेकिन मुख्यमंत्री जी का ज्यादातर समय प्रधानमंत्री मोदी को कोसने में निकल रहा है. हालांकि मुख्यमंत्री केजरीवाल के पास हर सवाल का जवाब मौजूद है.
प्रदूषण पर दिल्ली सरकार के निकम्मेपन पर भी जवाब हाजिर है. उस जवाब से आप कितना इत्तेफाक रखते हैं ये आपकी परेशानी है.