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बुलंदशहर हिंसा: नंबर वन आरोपी योगेश राज और उसकी बहन के बयान में अंतर क्यों है?

योगेश राज की बहन सुमन माथुर ने जो बयान दिया है वह पुलिस के पास दर्ज कराए गए योगेश की शिकायत से बिल्कुल अलग है

FP Staff

सोमवार को उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में भड़की भीड़ की हिंसा में एक पुलिस इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह और एक स्थानीय युवक की जान चली गई थी. इस पूरे मामले में बजरंग दल के जिला अध्यक्ष योगेश राज ने पुलिस को बयान दिया था. लेकिन योगेश के बयान और उसकी बहन के बयान आपस में मेल खाते नहीं दिख रहे हैं. योगेश ने बयान दिया था कि जब वह सुबह टहलने निकला तो देखा कि गोकशी हो रही है लेकिन उसकी बहन ने कहा है कि योगेश के पास किसी का फोन आया था. उसके बाद वह घर से बाहर निकला.

न्यूज-18 की खबर के मुताबिक, योगेश राज ने अपने बयान में कहा था कि वह गांव के ही तीन दोस्तों के साथ सुबह टहलने के लिए निकला था. तभी उसने पड़ोसी गांव के जंगल वाले इलाके में देखा कि 7 लोग गोकशी की घटना को अंजाम दे रहे हैं.


बजरंग दल जिला अध्यक्ष योगेश राज के मुताबिक, गोकशी कर रहे लोगों के साथ हमलोग कुछ कर पाते तब तक सभी के सभी फरार हो गए. योगेश राज ने अपने बयान में कहा कि सभी लोग पास के ही गांव नयाबांस के थे.

वहीं योगेश राज की बहन सुमन माथुर ने जो बयान दिया है वह पुलिस के पास दर्ज कराए गए शिकायत से बिल्कुल अलग है. सुमन माथुर ने कहा कि महाव गांव के किसी व्यक्ति ने मेरे भाई योगेश राज को कॉल किया था, जिसके बाद वह घर से बाहर निकला. उन्होंने कहा कि वह पुलिस स्टेशन भी गया था. लेकिन बाद में कॉलेज परीक्षा के लिए वहां से लौट आया. वह दोबारा 2.30 बजे के आसपास घर आया और आधे घंटे के बाद ही फिर से चला गया. सुमन के मुताबिक, दूसरी बार जब वह घर से गया है, तब से हमलोगों ने उसे देखा नहीं है.