उत्तर प्रदेश और बिहार का काफी क्षेत्र हर साल नेपाल से आने वाली नदियों की बाढ़ से तबाह हो जाता है. इन नदियों की बाढ़ से हर साल हजारों लोग बेघर होते हैं. गरीबी की मार के साथ-साथ ताउम्र अपनों के खोने की त्रासदी झेलते रहते हैं.
जीवनदायिनी कही जाने वाली ये नदियां जब रौद्र रूप लेती हैं तो यूपी, बिहार के अधिकांश हिस्से में बाढ़ आती है. इनमें कोसी, घाघरा, रास्ती, गंडक, महानंदा और बागमती आदि शामिल हैं.
जल संसाधन, नदी विकास और गंगा संरक्षण राज्यमंत्री संजीव कुमार बालियान ने बताया है कि बाढ़ क्यों आती है. उनका कहना है कि भारी बारिश, नेपाल और भूटान के ढालू पर्वतीय क्षेत्रों से नदियों का तेज बहाव, गाद जमा होने और उसके रास्ते में अतिक्रमण के कारण नदियों का मार्ग परिवर्तन होने से बाढ़ आती है.
कोसी नदी: इस नदी को बिहार का शोक भी कहा जाता है. नेपाल में हिमालय से निकलने वाली यह नदी बिहार में भीम नगर के रास्ते से भारत में दाखिल होती है. हर साल इसकी बाढ़ से बिहार में तबाही मचाती है. भारी जनधन की हानि करती है. हिमालय की पहाड़ियों से बालू, कंकड़-पत्थर साथ लाती हुई ये नदी अपने क्षेत्र का हर साल विस्तार कर रही है.
गंडक नदी: यह नदी भी नेपाल से निकलकर बिहार में दाखिल होती है. बाढ़ का एक कारण यह भी है. इसे नारायनी नदी भी कहते हैं. यह पटना के निकट गंगा मे मिल जाती है. इसकी लंबाई लगभग 1300 किलोमीटर बताई गई है.
घाघरा नदी: यह हिमालय से निकलती है. नेपाल से होकर बहती हुई भारत के उत्तर प्रदेश एवं बिहार में बहती है. उत्तरी भारत में बहने वाली एक प्रमुख नदी है. लगभग 970 किमी की यात्रा के बाद बलिया और छपरा के बीच यह गंगा में मिलती है. इसे 'सरयू नदी' के नाम से भी जाना जाता है. ऐतिहासिक नगरी अयोध्या इसी के किनारे बसी है. यह बहराइच, सीतापुर, गोंडा, फैजाबाद, टान्डा, दोहरी घाट, बलिया आदि से होकर आगे निकलती है.
बागमती नदी: बागमती नदी नेपाल से निकलती है. यह नेपाल में लगभग 195 किलोमीटर की यात्रा तय कर बिहार के सीतामढ़ी जिले में आती है. बिहार में इस नदी की कुल लम्बाई 394 किलोमीटर है. बिहार के तराई क्षेत्रों में प्रवेश करने के बाद यह नदी बाढ़ के दिनों में अक्सर अपना रास्ता बदल लेती है. इसके कारण सीतामढ़ी, मुजफ्फरपुर, दरभंगा और मधुबनी जिलों में काफी नुकसान पहुंचाती है.
राप्ती नदी: उत्तर प्रदेश के बहराइच, गोंडा, बस्ती एवं गोरखपुर जिलों में बाढ़ नेपाल से निकलने वाली नदी राप्ती से आती है. यह नदी मैदानी भाग में पूरब एवं दक्षिण एवं दक्षिण-पूरब दिशा में बहते हुए बरहज नगर (जिला देवरिया) के पास घाघरा नदी से मिलती है. मुख्यमंत्री योगी का गृह जिला गोरखपुर इस नदी के किनारे स्थित है. इसकी कुल लंबाई लगभग 600 किलोमीटर बताई गई है.