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भारतीय अर्थव्यवस्था को नोटबंदी से मदद मिलने की उम्मीद नहीं

पत्रकार एडम राबर्टस ने कहा 'नोटबंदी ने केवल यह दिखाया कि नरेंद्र मोदी में साहसी फैसले लेने की हिम्मत है'

Bhasha

नोटबंदी से देश को फायदा हुआ या नहीं इसे लेकर बहस जारी है. भारत में काम कर चुके जाने माने विदेशी पत्रकार एडम राबर्टस ने कहा है कि नोटबंदी से भारतीय अर्थव्यवस्था या देश में भ्रष्टाचार के खिलाफ सरकार की लड़ाई में मदद मिलने की उम्मीद नहीं है. उन्होंने कहा कि यह कदम दिखाता है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ‘कड़े और निर्णायक’ कदम उठाने को तैयार हैं.


एडम राबर्टस ने बुधवार को वाशिंगटन में एक कार्य्रकम में यह बातें कहीं. राबर्टस इकनोमिस्ट के दक्षिण पूर्व एशिया संवाददाता के तौर पर छह साल भारत में रह चुके हैं.

पीएम नरेंद्र मोदी ने 8 नवंबर, 2016 की आधी रात से देश में नोटबंदी लागू कर दिया था (फोटो: पीटीआई)

नरेंद्र मोदी साहसी फैसले कर सकते हैं

उन्होंने आधुानिक भारत पर एक किताब लिखी है. इस किताब के विमोचन कार्यक्रम में राबर्टस ने कहा ‘मुझे नहीं लगता कि नोटबंदी से अर्थव्यवस्था को मदद मिलेगी. लेकिन इसने दिखा दिया कि मोदी साहसी हैं और वह साहसी फैसले कर सकते हैं.’

एक सवाल के जवाब में राबर्ट्स ने इस सोच को चुनौती दी कि नोटबंदी से भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने में मदद मिलेगी.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 8 नवंबर 2016 की आधी रात से देश में 500 और 1000 रुपए के नोटों पर बैन लगा दी थी. जिसके बाद पुराने नोट बेकार हो गए थे. सरकार ने दलील दी थी कि बड़े नोटों की नोटबंदी से देश में काला धन, नकली नोटों की समस्या खत्म हो जाएगी.