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फिल्म रिव्यू: काफी मनोरंजक है बद्रीनाथ की दुल्हनिया!

होली के हल्के फुल्के माहौल के लिए ये एक उपयुक्त मनोरंजक फिल्म है

FP Staff

‘बद्रीनाथ की दुल्हनिया’ की कहानी भी वही है जो आपने अब से पहले भी सौ दफे देखी है. बद्रीनाथ बंसल यानी वरुण धवन वैदेही यानी आलिया भट्ट पर पहली नजर में ही लट्टू हो जाता है, लेकिन वैदेही प्यार में नहीं बल्कि एयर होस्टेस बनकर हवा में उड़ना चाहती है.

मगर वो आशिक ही क्या  जो ना को ना मान ले और हाथ धोकर लड़की के पीछे ना पड़ जाए. हिरोइन आखिरकार ऐसे रोमियो के प्यार में पड़ ही जाती है. लेकिन बद्री के घरवालों की दहेज की मांग-पढ़ी लिखी वैदेही को विद्रोही बना देती है. वो मंडप छोड़कर मुंबई भाग जाती है.


खैर करीब दो घंटे के रोमांस, कॉमेडी, आंसूओं और गाने बजाने के बाद - बद्रीनाथ को दुल्हनिया मिल जाती है. बेफिक्रा बद्री भी एक जिम्मेदार और महिलाओं की महत्वकांक्षा को सम्मान देने वाला युवक बन जाता है. बद्री का परिवार भी दहेज कुप्रथा को मान लेता है.

‘बद्रीनाथ की दुल्हनिया’ आसान कहानी वाली, एक मसाला कॉमेडी फिल्म है जो बेहद मनोरंजक तरीके से परोसी गई है. बिल्कुल देसी सेट अप में वरुण और आलिया की एक्टिंग और केमेस्ट्री बिल्कुल नैचुरल है. दोनों एक-दूसरे को पूरा करते हैं और पर्दे पर उनकी बेवकूफियां भी भरोसेमंद लगती हैं.

इंटरवल के पहले फिल्म की रफ्तार और घटनाएं मस्तमौला हैं, लेकिन उसके बाद की कहानी प्रीडिक्टेबल और धीमी है. हालांकि वरुण और आलिया आपको बोर नहीं होने देंगे. फिल्म में ढेरों ऐसे सीन्स हैं जो आपको खुलकर हंसने का मौका देंगे.

तम्मा-तम्मा गीत आखिर में प्रमोशनल गाने की तरह दिखाया गया है. इस फिल्म को पांच में से 3 स्टार्स मिलते हैं. फिल्म एक बार देखने लायक तो है मगर अभी देख लें और बड़े पर्दे पर ही देखें ये भी जरुरी नहीं. लेकिन होली के हल्के फुल्के माहौल के लिए ये एक उपयुक्त मनोरंजक फिल्म है.

साभार: न्यूज़18 हिंदी